वाढवण पोर्ट (सोर्स: सोशल मीडिया)
Vadhavan Port News In Hindi: ‘वाढवण बंदरगाह और नासिक का विकास’ विषय पर जवाहरलाल नेहरू पोर्ट अथॉरिटी (जेएनपीए) के अध्यक्ष और वाढवण बंदरगाह परियोजना के मुख्य प्रबंध निदेशक उमेश वाघ ने नासिक में एक व्याख्यान दिया। उन्होंने बताया कि किस तरह से वाढवण बंदरगाह नासिक जिले के लिए विकास का एक महत्वपूर्ण द्वार बन सकता है।
निदेशक उमेश वाघ ने वाढवण बंदरगाह की जन सुनवाई के दौरान आई चुनौतियों को याद किया। उन्होंने बताया कि अगर यह सुनवाई एक दिन भी टल जाती, तो 35 करोड़ रुपये का नुकसान होता और परियोजना एक साल के लिए रुक जाती।
14 जनवरी 2016 को होने वाली जन सुनवाई के एक दिन पहले दोपहर में कोर्ट का आदेश आया कि सुनवाई में आने वाले ग्रामीणों के लिए बस व्यवस्था की जाए। वाघ ने कहा कि उन्हें ऐसी स्थिति का अनुमान था, इसलिए उन्होंने पहले ही एसटी महामंडल से 500 बसों की मांग करके 25 लाख रुपये का भुगतान कर दिया था।
सुनवाई के दिन सुबह 8 बजे तक सभी 44 पंचायतों में 10/10 बसें पहुंच गईं। उन्होंने बताया कि स्थानीय लोगों को विश्वास में लेने के बाद 99.99% ग्रामीणों ने इस परियोजना का समर्थन किया।
वाघ ने कहा कि जब मुंबई में जेएनपीए बंदरगाह बना था, तब मराठी समुदाय ने इस अवसर को गंवा दिया था। उन्होंने छात्रों को सलाह दी कि वे वाढवण परियोजना को एक अवसर के रूप में देखें और उद्यमिता को अपनाएं। उन्होंने कहा कि उद्यमी को हमेशा सतर्क रहना पड़ता है और हर दिन नई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।
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इसके बाद,उमेश वाघ ने गंगापुर रोड स्थित आईएमएमआरटी सभागार में ‘अर्थ-उद्योग’ पत्रिका के विशेष अंक का विमोचन किया। इस अंक का शीर्षक ‘उद्यमी और व्यावसायिक परिवारों का सम्मानजनक कार्य’ था।
कार्यक्रम की अध्यक्षता मराठा विद्या प्रसारक संस्था के महासचिव नितिन ठाकरे ने की। इस मौके पर बालासाहेब क्षीरसागर, नितिन मोरे, डॉ. तानाजी वाघ और रमेश पवार जैसे गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे। पत्रिका के संपादक गोरख पगार ने कार्यक्रम की प्रस्तावना दी। इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में कॉलेज के छात्र भी मौजूद थे।