पल्लवी पुरकायस्थ केस (सौ. सोशल मीडिया )
Mumbai News In Hindi: सोमवार को बॉम्बे हाईकोर्ट ने 2012 में वडाला स्थित अपने फ्लैट में 25 वर्षीय कॉर्पोरेट वकील पल्लवी पुरकायस्थ की हत्या के दोषी सिक्योरिटी गार्ड की उम्रकैद की सजा को बढ़ाने से इनकार कर दिया।
अदालत ने राज्य सरकार और पल्लवी पुरकायस्थ के पिता की फांसी की सजा देने की मांग वाली याचिकाओं को खारिज कर दिया। अदालत ने पठान की उस याचिका को भी ठुकरा दिया जिसमें उसने ट्रायल कोर्ट के फैसले को चुनौती दी थी, और उसके खिलाफ दी गई दोषसिद्धि व उम्रकैद की सजा को बरकरार रखा।
न्यायमूर्ति अजे एस गडकरी और न्यायमूर्ति नीला के। गोखले की खंडपीठ ने इन सभी याचिकाओं पर फैसला सुनाया। 14 अगस्त को बॉम्बे हाईकोर्ट ने सुनवाई पूरी कर आदेश सुरक्षित रखे थे, जिन पर सोमवार को निर्णय सुनाया गया।
मुंबई की सत्र अदालत ने जुलाई 2014 में पठान को आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी और यह कहते हुए फांसी की सजा देने से इंकार किया था कि यह मामला “रेवरेस्ट ऑफ द रेयर श्रेणी में नहीं आता। अदालत ने उसे आईपीसी की धारा 302 (हत्या), 354 (महिला की मर्यादा भंग करने हेतु हमला या बल प्रयोग) और 449 (मृत्युदंड योग्य अपराध करने हेतु घर में घुसपैठ) के तहत दोषी ठहराया था।
ये भी पढ़ें :- 55 साल पुराने नवंबर ठंड के रिकॉर्ड की ओर बढ़ रहा नागपुर, न्यूनतम तापमान 12.2°C
दोषसिद्धि के बाद महाराष्ट्र सरकार ने पठान को फांसी देने की मांग करते हुए बॉम्बे हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया। सरकार ने अपनी अपील में कहा था कि यह मामला “रेयरेस्ट ऑफ द रेयर श्रेणी में आता है और आरोपी को मृत्युदंड दिया जाना चाहिए। पल्लवी के फ्लैट की सुरक्षा का जिम्मा संभालने वाले पठान को हत्या, छेड़छाड़ और आपराधिक घुसपैठ के अपराधों में दोषी पाया गया था। पुलिस के अनुसार, पठान ने जानबूझकर पल्लवी पुरकायस्थ के फ्लैट की बिजली काट दी थी।