प्रतीकात्मक तस्वीर (सोर्स: सोशल मीडिया)
E-Cigarettes Seizes In Mumbai: देश में युवाओं के बीच तेजी से बढ़ रहे ई-सिगरेट के चलन पर रोक लगाने के प्रयास में मुंबई क्राइम ब्रांच यूनिट-2 को बड़ी सफलता मिली है। अधिकारियों ने चीन से तस्करी कर लाई गई लगभग 32 लाख रुपए की ई-सिगरेट की खेप जब्त की और एक आरोपी को गिरफ्तार किया है। आरोपी की पहचान रवींद्र किशोर डेडिया के रूप में हुई है।
क्राइम ब्रांच के अनुसार, जब्त की गई ई-सिगरेट डिजिटल फॉर्मेट की हैं, जिनमें एक यूनिट से 200 से 250 पफ्स लिए जा सकते हैं। भारत में इनकी कीमत करीब 2 हजार रुपए प्रति यूनिट है, जबकि चीन से यह केवल 500 रुपए में उपलब्ध होती है। भारी मुनाफे को देखते हुए आरोपी ने लॉकडाउन के दौरान इस अवैध कारोबार की शुरुआत की थी।
अधिकारियों ने बताया कि कस्टम विभाग की सख्ती से बचने के लिए आरोपी ने समुद्री मार्ग का सहारा लिया। पकड़ी गई खेप को दक्षिण मुंबई के मॉल इलाकों और पुणे जैसे बड़े शैक्षणिक केंद्रों में बेचने की योजना बनाई गई थी। एजेंट्स के जरिए इन ई-सिगरेट्स को खासतौर पर युवाओं तक पहुंचाया जाता था।
विशेषज्ञों के मुताबिक, ई-सिगरेट का चलन किशोरों और कॉलेज छात्रों में तेजी से बढ़ रहा है। इसे नशे का आधुनिक और फैशनेबल तरीका मान लिया गया है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ चेतावनी देते हैं कि ई-सिगरेट का सेवन फेफड़ों की गंभीर बीमारियों, सांस लेने में कठिनाई और मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है। सबसे बड़ी चिंता यह है कि कई नाबालिग भी इसकी गिरफ्त में आ रहे हैं।
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फिलहाल आरोपी से पूछताछ जारी है और पुलिस अन्य सहयोगियों और नेटवर्क से जुड़े लोगों की तलाश कर रही है। पुलिस का मानना है कि यह गिरोह बड़े पैमाने पर युवाओं को निशाना बनाकर ई-सिगरेट की अवैध सप्लाई कर रहा था।
(एजेंसी इनपुट के साथ)