
उद्धव व राज ठाकरे (सोर्स- सोशल मीडिया)
Mumbai News In Hindi: उत्तर-पूर्व जिले के 15 वार्डों में से मुलुंड विधानसभा के 6 वार्ड और शिवाजीनगर, मानखुर्द, गोवंडों के वार्डों में मराठी मतदाताओं का रुख गणित बिगाड सकता है।
राज और उद्धव के मिलने के बाद मुलुंड में मराठी मतदाताओं का झुकाव किस तरफ होता है, यह चर्चा का विषय बना हुआ है। मुलुंड के आम लोगों का मानना का मानना है कि यह क्षेत्र केवल गुजरातियों की संख्या निर्णायक भूमिका में है।
मुलुंड में भाजपा के कई नगरसेवक मराठी मूल के हैं, जिनकी जीत में मराठी मतदाताओं का अहम योगदान होता है। इस बार उद्धव और राज के इकट्ठे आने से आम मराठी मतदाता किसके पाले में जाएगा, इस पर बहुत कुछ निर्भर करेगा।
मुलुंड के 6 वाडों में से कुछ वाडों का गणित पूरी तरह से बिगड़ सकता है। 2017 के मनपा चुनाव में मुलुंड के 6 वाडों में भारतीय जनता पार्टी को 63,384 वोट मिले थे, जिसमें भारतीय जनता पार्टी सभी सीटें जीतने में कामयाच हुई थी। वहीं अविभाजित शिवसेना को 34,391, महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना को 14, 182 बीट, कांग्रेस को 22,240, अविभाजित राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी को 12,752 वोट मिले थे।
इसी तरह जिले के शिवाजीनगर, मानखुर्द, गोवंडी के 9 वार्डों में भारतीय जनता पार्टी को मात्र 10,637 बोट, अविभाजित शिवसेना को 28,651 मिले, जिसमें 3 सीटें जीतने में सफलता मिली थी। मनसे ने केवल 5 सीटों पर अपने प्रत्याशी उतारे। थे, जिसमें 5,185 वोट मिले।
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समाजवादी पार्टी को 36,981 वोट मिले थे। यहां से समाजवादी पार्टी ने 5 सीटें जीती थी। इन जगहों पर मराठियों और मुस्लिम मतदाताओं की संख्या अधिक है। यहां पर समाजवादी पार्टी के साथ शिवसेना भी अच्छा प्रदर्शन करती रही है। आने वाले चुनाव में भाजपा को एड़ी चोटी का दम लगाना पड़ेगा।
मुंबई से नवभारत लाइव के लिए दयाशंकर पाण्डेय की रिपोर्ट






