मीरा-भाईंदर मनपा (pic credit; social media)
MBMC action on Developers: धार्मिक आधार पर फ्लैट बिक्री को बढ़ावा देने वाले विवादित विज्ञापनों पर मीरा-भाईंदर मनपा (MBMC) ने सख्त कार्रवाई की है। मनपा ने दो बड़े हाउसिंग प्रोजेक्ट्स के डेवलपर्स और आर्किटेक्ट्स को नोटिस जारी कर कड़ी चेतावनी दी है।
6 सितंबर को नवभारत के मुंबई प्लस एडिशन में “विवादों में घिरा हिल गैलेक्सी प्रोजेक्ट” शीर्षक से प्रकाशित खबर के बाद मनपा प्रशासन हरकत में आया। रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ था कि कुछ प्रोजेक्ट्स के विज्ञापनों में फ्लैट बिक्री केवल एक विशेष समुदाय को ध्यान में रखकर की जा रही थी।
पहला मामला भाईंदर (पश्चिम) के भूमि सर्वे नं. 44/2, 45/2 (नया) और 541/2, 540/2 (पुराना) का है, जहां “गे. लीना कंस्ट्रक्शन लिमिटेड” को विकास की अनुमति दी गई थी। दूसरा मामला घोडबंदर के भूमि सर्वे नं. 26/2.3 और 27/100 का है, जहां “आर.आर. बिल्डर्स” को विकास की मंजूरी दी गई थी। दोनों ही मामलों में सोशल मीडिया पर विज्ञापनों में धार्मिक आधार पर ग्राहकों को लक्षित किया जा रहा था।
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मनपा ने अपने नोटिस में साफ कहा है कि ऐसे विज्ञापन भारत के संविधान के अनुच्छेद 14 (कानून के समक्ष समानता) और अनुच्छेद 15 (भेदभाव निषेध) का उल्लंघन हैं। यह न केवल मौलिक अधिकारों का हनन है, बल्कि समाज में धार्मिक वैमनस्य फैलाने की आशंका भी बढ़ाता है।
मनपा ने दोनों डेवलपर्स को तुरंत ऐसे सभी विज्ञापन रोकने और लिखित स्पष्टीकरण देने के आदेश दिए हैं। यदि समय पर जवाब नहीं मिला, तो उनके प्रोजेक्ट की बिल्डिंग परमिशन रद्द कर दी जाएगी।
राज्य के परिवहन मंत्री और स्थानीय विधायक प्रताप सरनाईक ने भी इस मामले को गंभीरता से लेते हुए मनपा प्रशासन को दोषियों के खिलाफ तुरंत और कठोर कार्रवाई करने का निर्देश दिया। उनका कहना है कि व्यवसायिक लाभ के नाम पर धार्मिक मतभेद फैलाना बेहद खतरनाक है और दोषी बिल्डरों के लाइसेंस रद्द किए जाने चाहिए।
मनपा नगर रचना विभाग के सायक निदेशक पुरुषोत्तम शिंदे ने कहा कि समाज में वैमनस्य फैलाने वाले किसी भी तरह के विज्ञापन बर्दाश्त नहीं किए जाएंगे और नियमों का उल्लंघन करने वालों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।