शव लेकर कलेक्ट्रेट पहुंचे परिजनों को समझाइश देते अधिकारी
कोल्हापुर: कोल्हापुर जिले में बुधवार को एक अजीबोगरीब मामला सामने आया है। कब्रिस्तान में दफनाने के लिए जगह नहीं मिली तो परिजन शव को कलेक्ट्रेट पहुंच गए। इसके बाद कार्यालय में हड़कंप मच गया। परिजनों ने कब्रिस्तान की मांग करते हुए कलेक्टर कार्यालय के सामने हंगामा किया। उन्होंने कहा कि जब तक दफनाने के लिए जगह नहीं मिलती तब तक शव को यहां से नहीं ले जाएंगे।
सोमवार रात हुई मौत के बावजूद शव को दफनाने की जगह नहीं मिलने पर परिजन शव को कलेक्टर कार्यालय के ठीक सामने ले आए। यह रुख अपनाते हुए कि जब तक उन्हें कब्रिस्तान के बारे में ठोस आश्वासन नहीं मिलेगा तब तक वे वहां से नहीं जाएंगे। इस रूख अपनाने से जिला प्रशासन में भगदड़ मच गई। मृतक के भाई ने प्रशासन से पूछा कि शव को दफनाया जाए या अंतिम संस्कार किया जाए। पुलिस को मृतक के परिजनों को समझाया और बाद उन्होंने शव वापस ले गए।
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कोल्हापुर जिले में वंदना राजेश वाघमारे की सोमवार देर रात कनाननगर इलाके में मौत हो गई। लेकिन ईसाई कब्रिस्तान में जगह न होने के कारण शव का अंतिम संस्कार नहीं किया जा सका। इससे गुस्साए परिजन वाघमारे का शव सीधे कलेक्टर कार्यालय के सामने ले आए। ऐसे में प्रशासन के होश उड़ गए। जिलाधिकारी के प्रवेश द्वार पर पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों ने टेंपो को रोक लिया। इस समय रिश्तेदारों ने रुख अपनाया कि जब तक मनपा अधिकारी बताकर ईसाई कब्रिस्तान के स्थान के बारे में ठोस आश्वासन नहीं देते, तब तक वे शव लेकर नहीं लौटेंगे।
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काफी समय से मनपा के अधिकारी यहां नहीं आए तो परिजन और आक्रामक हो गए। इस बीच शाहूपुरी पुलिस ने परिजनों से समझाया। कब्रिस्तान की समस्या को प्रशासन से बातचीत कर सुलझाने का आश्वासन देने के बाद परिजन शव लेकर वापस चले गये। शहर में ईसाई समुदाय के कब्रिस्तान का सवाल दांव पर है। इस संबंध में कोई ठोस निर्णय नहीं लिया गया है। मृतक के भाई विवेक भालेराव ने गुस्से में पूछा कि इस शव को जला दूं या दफना दूं।