बदलापुर स्कूल (सोर्स: सोशल मीडिया)
मुंबई: ठाणे जिले के बदलापुर स्थित एक विद्यालय के शौचालय में एक स्कूल कर्मचारी ने 4 और 5 साल की बच्चियों का अगस्त में कथित तौर पर यौन उत्पीड़न किया था। इस घटना के सामने आने के बाद लोगों में आक्रोश फैल गया था और राज्य में बड़े पैमाने पर विरोध-प्रदर्शन हुए थे। इस मामले की जांच के लिए एसआईटी गठित की गई थी।
महाराष्ट्र सरकार ने बंबई उच्च न्यायालय को मंगलवार को बताया कि बदलापुर में दो बच्चियों के यौन उत्पीड़न से जुड़े मामले की जांच पूरी कर ली गई है। साथ ही इस घटना के संबंध में एक पुलिस अधिकारी को निलंबित कर दिया गया है।
उच्च न्यायालय में जानकारी देते हुए राज्य सरकार ने बताया कि मामले में मारे गए आरोपी और स्कूल के न्यासी के खिलाफ दो आरोपपत्र दायर किए गए हैं। वहीं मामले को गंभीरता से न लेने पर दो पुलिस कांस्टेबल को सख्त चेतावनी भी दी गई है।
बदलापुर यौन उत्पीड़न मामले की जांच करने वाले विशेष जांच दल (SIT) की ओर से पेश लोक अभियोजक हितेन वेनेगांवकर ने न्यायमूर्ति रेवती मोहिते डेरे और न्यायमूर्ति पृथ्वीराज चव्हाण की खंडपीठ को बताया कि घटना की जांच पूरी हो चुकी है और एसआईटी को भंग कर दिया गया है।
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पुलिस के अनुसार बदलापुर यौन उत्पीड़न मामले का आरोपी अक्षय शिंदे (24) सितंबर में मुंब्रा बाईपास के पास कथित मुठभेड़ में मारा गया था, उस समय उसने अपनी पूर्व पत्नी की शिकायत के आधार पर दर्ज मामले की जांच के सिलसिले में ले जाते समय एक पुलिसकर्मी की रिवाल्वर कथित तौर पर छीनकर गोली चलाई थी।
इस मामले में प्राथमिकी दर्ज करने और जांच में देरी के लिए बदलापुर पुलिस थाने के अधिकारियों के खिलाफ विभागीय जांच शुरू की गई। वेनेगांवकर ने अदालत को बताया कि “बदलापुर थाने की वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक रही महिला अधिकारी को विभागीय जांच के बाद निलंबित कर दिया गया। साथ ही उनकी दो साल की वेतन वृद्धि भी रोक दी गई।” उन्होंने बताया कि मारे गए आरोपी और स्कूल के न्यासी के खिलाफ दो आरोपपत्र दाखिल किए गए हैं।
उच्च न्यायालय ने इस मामले का स्वतः संज्ञान लेते हुए स्कूल और अन्य शैक्षणिक संस्थानों में बच्चों की सुरक्षा की जांच के लिए विशेषज्ञों की एक समिति गठित करने का आदेश दिया था। लोक अभियोजक वेनेगांवकर ने कहा कि “मामले की जांच पूरी हो चुकी है और एसआईटी को भंग कर दिया गया है।”
वेनेगांवकर ने मंगलवार को पीठ को बताया कि समिति जनवरी 2025 में अपनी रिपोर्ट सौंपेगी। अदालत ने मारे गए आरोपी के माता-पिता को पुलिस सुरक्षा प्रदान करने के मुद्दे पर अगली सुनवाई 19 दिसंबर को तय की है।आरोपी के माता-पिता पर कुछ व्यक्तियों द्वारा हमला किए जाने की आशंका है।
वेनेगांवकर ने अदालत को बताया कि आरोपी के माता-पिता ने पुलिस सुरक्षा लेने से इनकार कर दिया था, लेकिन उनके घर पर हमला किए जाने की आशंका जताई थी। उन्होंने कहा कि “आरोपी के माता-पिता के घर के बाहर एक पुलिस कांस्टेबल तैनात किया गया है।”
आरोपी अक्षय के माता-पिता की ओर से पेश वकील अमित कटरनवारे ने बताया कि उनके मुवक्किलों ने पुलिस सुरक्षा लेने से इनकार नहीं किया है। पीठ ने कहा कि दोनों को गुरुवार को अदालत के समक्ष पेश होना चाहिए।
(एजेंसी इनपुट के साथ)