रवि राणा और बच्चू कडू (सौ. सोशल मीडिया )
Amravati News In Hindi: विधायक रवि राणा और पूर्व राज्यमंत्री बच्चू कडू के बीच राजनीतिक विवाद फिर उभरा है। किसान कार्यक्रम में कडू द्वारा विधायकों को काट डालने जैसे बयान के बाद राणा दंपति ने आरोप लगाया कि कडू ने आंदोलन वापस लेने के बदले उपमुख्यमंत्री से एमएलसी या बड़ा पद मांगा।
वहीं पूर्व सांसद नवनीत राणा ने कहा कि विधायकी खोने के बाद ही कडू को किसानों व दिव्यांगों की याद आई है। कडू ने पलटवार करते हुए कहा कि राणा दंपति लक्ष्मी पूजा छोड़ उनका नाम जप रहे हैं। चुनावी माहौल में यह आरोप-प्रत्यारोप थमते नहीं दिख रहे।
4 बार विधायक रहे, मंत्री पद मिलने के बाद भी ऐसी भाषा का उपयोग नहीं किया। लेकिन विधायकी जाते ही वे विधायकों के बारे में ऐसी बातें कर रहे हैं। बच्चू कडू ने राज्य के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे से मिलकर आंदोलन वापस लेने के लिए विधान परिषद या कोई बड़ा पद देने तथा राजनीतिक पुनर्वसन करने की शर्त रखी है।
ऐसा दावा एक निजी चैनल पर विधायक रवि राणा ने करते हुए कहा कि हमेशा की तरह अवैध दबाव तंत्र निर्माण करने का काम वे कर रहे हैं। कडू को दिवाली की लाख-लाख शुभेच्छा देते हुए सलाह दी है कि सब करो मगर किसानों के नाम पर लड्डू मत खाओ। मैंने किसान आंदोलन में अपनी एक किडनी गवाई है। 4 बार जेल गया। किसानों के लिए 2 हजार करोड़ रुपये लाए। आंदोलन तन-मन से किया जाता है न कि नाटक करके।
वे लक्ष्मी पूजा छोड़, रामचंद्र का नाम भूल बच्चू कडू का जाप कर रहे हैं। वे पहले राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और हमारे समर्थन से जीते, उन्होंने भातकुली में हमारे फोटो भी लगाए गए थे। सारे एहसान वे भूल गए हैं। पहले राकांपा के साथ थे। अब भाजपा की सत्ता आने के बाद वे सत्ता का मजा लूट रहे, जबकि पुराने भाजपा कार्यकर्ता जिन्होंने खुद पर केस लगाए वे पीछे रह गए हैं। ठाकरे बंधुओं पर टिप्पणी करने से पहले राणा दंपति देखें वे खुद कितने लाचार हैं यह दिख रहा है। तुम खुद एक नहीं तो दूसरे को क्यों बोल रहे।
-बच्चू कडू, पूर्व राज्यमंत्री
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4 बार विधायक रहने के बावजूद उन्होंने न तो किसानों की सुध ली न ही दिव्यांगों की। अब विधायकी चली गई तो पेट दुख रहा है। वैसे ही महाराष्ट्र के दो भाई ठाकरे बंधुओं को सत्ता की ऐसी लालच लगी है कि एक-दूसरे का मुंह न देखने वाले अपने स्वार्थ के लिए अब गले लग रहे हैं।
– नवनीत राणा, पूर्व सांसद