क्रेडिट कार्ड (सौजन्य : सोशल मीडिया)
नई दिल्ली : डेली नीड्स के खर्च में बिल भरने से लेकर शॉपिंग करने तक के लिए क्रेडिट कार्ड का उपयोग करना आज जीवन का काफी अहम हिस्सा हो गया है। लगातार बढ़ते डिजिटल ट्रांसेक्शन में यूपीआई पेमेंट के साथ ही क्रेडिट कार्ड की भी अहम भूमिका रही है। हालांकि पिछले कुछ दिनों से क्रेडिट कार्ड से खर्च के आंकड़े में काफी कमी आयी है।
जी हां, पिछले 8 महीने के दौरान सबसे कम क्रेडिट कार्ड से खर्च लोगों ने फरवरी के महीने में किया है। रिजर्व बैंक के अनुसार, फरवरी के महीने में क्रेडिट कार्ड से केवल 1.67 लाख करोड़ रुपये ही खर्च किए गए हैं। हालांकि क्रेडिट कार्ड से कम खर्च का ये आंकड़ा उस महीने का है जब ज्यादातर स्टूडेंट्स अपने बोर्ड एग्जाम को लेकर बिजी थे, जबकि नए क्रेडिट कार्ड जारी करने की संख्या आधी हो गई है। इकोनॉमिक टाइम्स के अनुसार, जनवरी के महीने में 8.2 लाख क्रेडिट कार्ड जारी किए गए थे, जो फरवरी के महीने में 4.4 लाख हो गए थे।
साथ ही, शेयर मार्केट में पिछले 2 महीने में गिरावट भी इसका प्रमुख कारण रहा है। उससे पहले लोगों ने क्रेडिट कार्ड का उपयोग उस समय किया जब उनके शेयर में इंवेस्टमेंट ने शानदार परफॉर्मेंस दिया है। लेकिन शेयर मार्केट में लगातार गिरावट आने का दौर जारी है, ऐसे में ज्यादातर ने खरीददारी से खुद को परहेज किया है, खासकर मेट्रोपोलिटन शहर में है।
क्रेडिट कार्ड जारी करने वाले बड़े बैंक जैसे एसबीआई, आईसीआईसीआई और एचडीएफसी से कुछ ही नए कस्टमर जनवरी के फरवरी के महीने में जुड़े है। हालांकि टोटल कार्ड की संख्या जिसका उपयोग हुआ वो जनवरी के 10.88 करोड़ की तुलना में थोड़ा बढ़कर फरवरी में 10.93 करोड़ हो गई है।
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कुछ मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, कंज्यूमर्स की खर्च की आदतें भी बदलने लगी हैं। अब लोग स्टोर्स पर कार्ड्स से भी पेमेंट कर रहे हैं, जो जनवरी में 69,429 करोड़ से घटकर फरवरी में 62,124 करोड़ हो गया है। हालांकि ऑनलाइन पेमेंट में भी कमी देखी जा रही है, जो जनवरी के महीने में 1.15 लाख करोड़ से घटकर फरवरी के महीने में 1.05 लाख करोड़ हो गया है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि ये इंडस्ट्री लगातार आगे बढ़ सकती है लेकिन धीमी रफ्तार से, क्योंकि कड़े उधार ट्रांसेक्शन, कंज्यूमर के बढ़ते लोन और आर्थिक अनिश्चितताओं के कारण आयी है।