बिलावल भुट्टो जरदारी (फोटो- सोशल मीडिया)
इस्लामाबाद: पाकिस्तान के पूर्व विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो जरदारी ने पहलगाम हमले को लेकर बड़ा बयान दिया है। भुट्टो ने एक मीडिया इंटरव्यू में कबूल किया कि पहलगाम आतंकी हमला था। उन्होंने कहा कि पहलगाम में जो कुछ भी हुआ, उसका उन्हें दुख है। भुट्टो ने यह भी कबूला कि लश्कर-ए-तैय्यबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठन पाकिस्तान से ऑपरेट करते हैं।
भुट्टो ने इंटरव्यू में कहा कि वे पहलगाम आतंकी हमले के पीड़ितों के दर्द को समझते हैं और उनके प्रति संवेदना व्यक्त करते हैं। उन्होंने माना कि पाकिस्तान में लश्कर-ए-तैय्यबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे आतंकी संगठनों का अस्तित्व है। हालांकि, भुट्टो ने इस बात से इनकार किया कि इस हमले में पाकिस्तानी सरकार या सेना की कोई भूमिका थी।
बिलावल भुट्टो ने पहलगाम हमले में पाकिस्तानी सेना और सरकार के शामिल होने के दावे को खारिज करते हुए कहा कि पाकिस्तान न ही अपनी सीमा के अंदर या बाहर किसी भी आतंकवादी संगठन का समर्थन करता है। उन्होंने कहा, “हम खुद दशकों से आतंकवाद का शिकार रहे हैं। पाकिस्तान ने सालों तक अपनी जमीन पर आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई लड़ी है।”
भुट्टो ने दावा किया कि पाकिस्तान ने आतंकवाद के साथ लड़ाई लड़ते हुए अपने 92,000 से अधिक नागरिकों की जान गंवाई है। उन्होंने कहा कि 2024 में ही पाकिस्तान में 200 से अधिक आतंकी हमले हुए थे, जिसमें 1,200 से अधिक लोगों की मौत हुई थी। भुट्टो ने चिंता जताते हुए कहा कि अगर देश में आतंकी हमलों का सिलसिला जल्द बंद नहीं होता है, तो 2025 पाकिस्तान के इतिहास का सबसे खूनी साल होगा।
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पूर्व विदेश मंत्री बिलावल भुट्टो ने इंटरव्यू में यह तो स्वीकार किया कि जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुआ हमला आतंकी हमला था। लेकिन उन्होंने यह मानने से इनकार किया कि इसमें उनकी सरकार का कोई संबंध था। उन्होंने इसे पाकिस्तान के खिलाफ भारत की ओर से चलाया जा रहा प्रोपेगैंडा करार दिया। उन्होंने कहा, “हमारे हाथ साफ हैं।” उन्होंने कहा, पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने हमले की निष्पक्ष अंतरराष्ट्रीय जांच में शामिल होने की पेशकश की थी, लेकिन भारत ने इसे ठुकरा दिया। उन्होंने पाकिस्तान और भारत के बीच व्यापक संवाद की भी वकालत की।