शर्मिष्ठा पनोली को कोलकाता HC से अंतरिम बेल
कलकत्ता उच्च न्यायालय ने गुरुवार को सोशल मीडिया इनफ्लुएंसर शर्मिष्ठा पनोली को अंतरिम जमानत दे दी, उनको कथित सांप्रदायिक पोस्ट से धार्मिक भावनाओं को आहत करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। सिंबायोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी, पुणे की छात्रा पनोली के सोशल मीडिया पर काफी फॉलोअर्स हैं – एक्स पर लगभग 85,000 और इंस्टाग्राम पर 90,000 फॉलोअर्स हैं। उन्हें शुक्रवार दोपहर गुड़गांव स्थित उसके घर से गिरफ्तार किया गया था।
14 मई को एआईएमआईएम के राष्ट्रीय प्रवक्ता वारिस पठान ने एक वीडियो साझा किया था और आरोप लगाया था कि उन्होंने इस्लाम का अपमान किया है और सांप्रदायिक द्वेष फैलाने की कोशिश की है। पठान ने अपने पोस्ट में गृह मंत्री को टैग किया और उनकी गिरफ्तारी की मांग की थी।
15 मई को पनोली ने एक्स पर पोस्ट किया, “मैं बिना शर्त माफ़ी मांगता हूँ। जो कुछ भी लिखा गया है, वह मेरी निजी भावनाएँ हैं और मैंने कभी जानबूझकर किसी को ठेस नहीं पहुँचाना चाहा, इसलिए अगर किसी को ठेस पहुँची है, तो मुझे इसके लिए खेद है। मैं सहयोग और समझदारी की अपेक्षा करता हूँ। अब से, मैं अपने सार्वजनिक पोस्ट में सावधानी बरतूँगा। फिर से, कृपया मेरी माफ़ी स्वीकार करें।” एफआईआर के मुताबिक, पुलिस को 14 मई को गार्डन रीच पुलिस स्टेशन में वजाहत खान नामक व्यक्ति से शिकायत मिली थी। जिसके बाद उनकी गिरफ्तारी हुई।
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इससे पहले भाजपा ने रविवार को पश्चिम बंगाल सरकार पर शर्मिष्ठा की गिरफ्तारी को लेकर निशाना साधा और तृणमूल कांग्रेस सरकार पर अपने वोट बैंक को खुश करने के लिए “युवा हिंदू महिला” को निशाना बनाने का आरोप लगाया। पनोली की गिरफ्तारी पर तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए पश्चिम बंगाल में भाजपा के सह-प्रभारी अमित मालवीय ने तृणमूल सरकार पर तुष्टीकरण की राजनीति के तहत कानून को “चुनिंदा तरीके से लागू करने” का आरोप लगाया।