चप्पल से नजरदोष उतारने का टोटका (सौ.सोशल मीडिया)
जब भी किसी व्यक्ति को किसी की बुरी नजर लगती है तो उसका जीवन परेशानियों से भर जाता हैं। नजरदोष लगने पर जीवन में कई दिक्कतें आ जाती हैं। इससे बने बनाए काम बिगड़ जाते हैं और हर क्षेत्र में निराशा ही निराशा मिलती हैं।
ऐसे में दादी-नानी या मां तुरंत कोई नजर उतारने के लिए कई उपाय और टोटके अपनाती हैं। जैसे नमक, लाल मिर्च, कपूर, राई से लेकर सरसों तेल तक।
लेकिन एक तरीका और होता था, जो आज भी बहुत से लोग अपनाते हैं- चप्पल से नजर उतारना। अब सवाल ये है कि क्या वाकई चप्पल से बुरी नजर उतर सकती है? क्या इसका कोई तर्क है? और अगर ऐसा है तो उसका तरीका क्या होता है? चलिए जानते हैं ज्योतिष और परंपरा दोनों के नज़रिए से इस अनोखे उपाय के बारे में-
ज्योतिष-शास्त्र में चप्पल से नजर उतारने का सीधा ज़िक्र नहीं मिलता, लेकिन यह तरीका पीढ़ियों से चला आ रहा है। पुराने समय में लोगों का मानना था कि जो चीज़ें ज़मीन से जुड़ी रहती हैं, वो नकारात्मक ऊर्जा को सोखने में मदद करती हैं। चप्पल भी दिनभर जमीन पर चलती है और पैरों के सबसे निचले हिस्से से जुड़ी होती है।
ऐसा माना जाता है कि पैरों में शनिदेव का वास होता है और शनि व राहु का सीधा संबंध बुरी नजर से जोड़ा जाता है। इसलिए चप्पल को नजर उतारने के लिए एक प्रभावी साधन माना गया।
जिस व्यक्ति को नजर लगी हो, उसकी अपनी चप्पल या जूता लिया जाता है। छोटे बच्चों के लिए उनके छोटे जूते-चप्पल का इस्तेमाल होता है। इस चप्पल को उस व्यक्ति के सिर से लेकर पैरों तक 7 बार उल्टी दिशा में घुमाया जाता है, यानी घड़ी की सुई के उल्टे क्रम में। कुछ लोग सिर्फ सिर के ऊपर ही घुमाते हैं।
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इसके बाद उसी चप्पल को घर के मुख्य दरवाजे की दहलीज पर 3 बार झाड़ा जाता है या हल्के से पटका जाता है। ऐसा माना जाता है कि बुरी नजर की जो भी ऊर्जा शरीर में थी, वो चप्पल के ज़रिए बाहर निकल जाती है और दहलीज पर ही रुक जाती है। इसके बाद उस चप्पल को वहीं छोड़ने या फिर उसकी जगह पर रखने की सलाह दी जाती है।
इस टोटके को शनिवार को करना ज्यादा अच्छा माना गया है। शनिवार को शनि की विशेष ऊर्जा सक्रिय होती है और चप्पल का संबंध शनि से माना जाता है। ऐसे में शनिवार को किया गया नजर उतारने का ये उपाय ज्यादा असरदार बताया जाता है। खासकर बच्चों को नजर लगने पर ये तरीका बहुत अपनाया जाता है, क्योंकि उन्हें नजर जल्दी लगती है।