उल्हास नदी उफान पर (pic credit; social media)
Ulhas River in Spate: बदलापुर में मूसलाधार बारिश ने एक बार फिर लोगों की धड़कनें बढ़ा दीं। दो दिन से लगातार हो रही बारिश ने उल्हास नदी को उफान पर ला दिया। रविवार को हालात ऐसे बने कि नदी का जलस्तर लगभग खतरे के निशान तक पहुंच गया। हालांकि शाम तक बारिश थमी तो थोड़ी राहत मिली और बड़ा संकट टल गया।
शनिवार रात से ही बदरंग बादल बदलापुर और आसपास के इलाकों पर कहर बनकर बरस रहे थे। उल्हास नदी के साथ-साथ छोटे-बड़े नाले भी दोनो किनारों से भरकर बहने लगे। नतीजा यह हुआ कि नदी किनारे स्थित नपा की बड़ी चौपाटी पूरी तरह डूब गई। चौपाटी पर लगे झूले और खिलौने पानी में समा गए।
रविवार सुबह नदी का जलस्तर 13 मीटर पर था, लेकिन अदलापुर और कर्जत क्षेत्र से आए तेज बहाव के कारण यह बढ़कर 15.10 मीटर तक जा पहुंचा। अचानक बढ़ते जलस्तर ने शहरवासियों की चिंता दोगुनी कर दी। लोग घरों से बाहर निकलने से कतराने लगे और सोशल मीडिया पर बाढ़ जैसी स्थिति की तस्वीरें वायरल होने लगीं।
मौसम विभाग ने पहले ही ठाणे जिले के लिए रेड अलर्ट जारी कर दिया था। जैसे-जैसे उल्हास नदी का पानी ऊपर जा रहा था, वैसे-वैसे बदलापुर के लोगों का डर भी बढ़ता जा रहा था। कई लोगों ने प्रशासन से चौकसी बढ़ाने और नदी किनारे बैरिकेड्स लगाने की मांग की।
हालांकि शाम होते-होते बारिश की रफ्तार कम हो गई और जलस्तर स्थिर हो गया। इससे लोगों ने राहत की सांस ली। मगर यह घटना एक बार फिर बड़ा सवाल खड़ा करती है कि आखिर हर साल बारिश आते ही बदलापुर क्यों डूबने लगता है। नागरिकों का कहना है कि जब तक नालों की सफाई और उचित जलनिकासी व्यवस्था नहीं होगी, तब तक बदलापुरवासियों को हर मानसून इसी डर के साथ जीना पड़ेगा।