प्याज की कीमत (सौजन्य : सोशल मीडिया)
पुणे: महाराष्ट्र में पिछले कुछ दिनों से लगभग सभी जरूरी वस्तुओं की कीमतों में बढ़ोतरी हो रही है। दिवाली के दौरान प्याज की कीमतों में गिरावट आ गई थी। हालांकि, अब प्याज की कीमतें फिर से आसमान छूने लगी हैं। कई शहरों में थोक व्यापार में प्याज की कीमत अचानक 70 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गई, जिससे खुदरा व्यापार में भी कीमत बढ़ गई।
हाल फिलहाल में तो खुदरा व्यापार में प्याज 80 से 90 रुपये प्रति किलो बिक रहा है। अगर ऐसे ही कीमत में बढ़ोतरी जारी रही, तो संभावना है कि जल्द ही प्याज की कीमत 100 रुपये तक पहुंच जाएगी। प्याज के साथ-साथ लहसुन के दाम भी ऊंचे होते जा रहे हैं। मुंबई में एक किलो लहसुन खरीदने के लिए उपभोक्ताओं को 400 रुपये चुकाने पड़ रहे हैं। यही वजह है कि बाजार में नाराजगी व्यक्त की जा रही है।
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पुणे कृषि उपज व्यापार समिति में सोमवार को प्याज की कीमत 65 रुपये प्रति किलोग्राम रही। प्याज औसतन 45 रुपये प्रति किलो की कीमत पर बिका, जबकि कोल्हापुर में सबसे ज्यादा कीमत 70 रुपये प्रति किलो थी। इसलिए खुदरा व्यापार में भी प्याज की कीमत बढ़ गई है। हैरानी की बात ये है कि हाल ही में बाजार में प्याज की कीमत 40 से 60 रुपये प्रति किलो तक ही थी। अचानक हुई इस बढ़ोतरी से उपभोक्ताओं के जेब पर मार जरूर पड़ेगी। मुंबई के कई बाजारों में प्याज 70 से 80 रुपये प्रति किलो मिल रहा है।
प्याज के दाम कई गुना बढ़ गए हैं। प्याज और लहसुन के दाम कई गुना बढ़ गए हैं। इसका असर घरेलू बजट पर पड़ रहा है। इस बीच, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और गुजरात से भी आवक जल्द ही बढ़ सकती है। इससे कीमत में कमी होने की उम्मीद जताई जा रही है।
पुराने प्याज की ज्यादा है मांग। बाजार समिति के अधिकारियों से मिली जानकारी के मुताबिक पिछले 15 दिनों में सोलापुर बाजार में बिक्री के लिए आया 30 फीसदी प्याज बारिश से खराब हो गया था। उस प्याज को केवल 50 पैसे प्रति किलो कीमत मिली थी। अब बाजार समिति में बिक्री के लिए गीला प्याज ज्यादा मात्रा में है, जिसका कारण बेमौसम बारिश और निर्यात पर रोक का डर बताया जा रहा है। दरअसल इससे प्याज की औसत कीमत में गिरावट आई है, फिलहाल गीले प्याज की औसत कीमत 2600 रुपये प्रति क्विंटल है। एक सूखे पुराने प्याज की कीमत 4,200 से 5,200 रुपये है।
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राज्य में आय में गिरावट। प्याज की कीमत 60-70 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गई है। यह प्याज बाजार से खरीदा जाता है। इसलिए जो भी कीमत मिलती है, उसी कीमत पर बेची जाती है। कीमत बढ़ने के कारण प्याज की बिक्री भी कम हो गई है। क्योंकि प्याज आहार का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, इसी लिए अभी भी कुछ लोग प्याज खरीद रहे हैं।
राज्य की कुछ बाजार समितियों में सोमवार को प्याज की आवक कम होने की जानकारी मिली है। यही वजह है कि प्याज की कीमतें बढ़ गई हैं। पुणे में प्याज की आवक में 7,873 क्विंटल की कमी दर्ज की गई है। वहीं कराड़ में प्याज की आवक 51 क्विंटल से घट गई है। इसके अलावा छत्रपति संभाजीनगर में बाजार समिति ने बताया है कि प्याज की आवक में 1,660 क्विंटल से गिरावट दर्ज की गई है।