पुणे न्यूज (सौ. सोशल मीडिया )
Pune News In Hindi: दूध में बड़े पैमाने पर मिलावट हो रही है, लेकिन इसके लिए किसान दोषी नहीं हैं, इसके जिम्मेदार डेयरी मालिक और दूध प्लांट संचालक हैं। इसके अलावा गोवंश हत्या निषेध कानून का हवाला लेकर हिंदुत्ववादी संगठनों के कार्यकर्ता जानवरों की खरीद-फरोख्त में हस्तक्षेप कर रहे हैं, जिससे किसान वर्ग परेशान है।
स्वाभिमानी किसान संगठन जिला अध्यक्ष प्रभाकर बांगर ने एक ज्ञापन के माध्यम से उपमुख्यमंत्री अजीत पवार से इन समस्याओं को गंभीरता से जांच और ठोस समाधान को निकालने की मांग रखी है। पुणे जिला दूध उत्पादक संघ की वार्षिक सभा पुणे में शुक्रवार को हुई।
इस मौके पर उपमुख्यमंत्री पवार, जिला दूध संघ के अध्यक्ष एड सपना ढमढेरे संगठन के पुणे जिला अध्यक्ष प्रभाकर बांगर ने किसानों की समस्याएं प्रस्तुत की। इस ज्ञापन में कहा गया है कि संकरित जसीं गायों की बछड़ियों खेती या बैलगाड़ी काम के उपस्थित थे। बैठक में स्वाभिमानी किसान के लिए उपयोगी नहीं हैं। इसलिए किसान इन्हें छोड़ रहे हैं। पशु संवर्धन विभाग द्वारा ये गायें उपलब्ध कराई जा रही हैं। जिससे किसानों की मुश्किलें बढ़ रही हैं। किसानों ने देशी गोवंश को बढ़ावा देने और संकरित गायों की संख्या पर सीमित बदलाव करने की मांग की है।
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दूसरी ओर, दूध में बड़े पैमाने पर मिलावट हो रही है, जिसके लिए किसान जिम्मेदार नहीं है। इस मिलावट से नागरिकों के स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव पड़ रहा है और कैसर जैसी बीमारियों में वृद्धि हो रसही है, किसानों के हित में मिलावट रोकने के लिए कडे कानून, दोधियों को जमानत न देने और खाद्य एवं औषधि प्रशासन की कड़ी कार्रवाई की मांग की गई है। बांगर ने बताया कि उप मुख्यमंत्री पवार ने इस विषय पर जल्द ही मुंबई में बैठक आयोजित करने का आश्वासन दिया है।