
नाशिक में सकल जैन समाज का हुंकार मोर्चा, अपर जिला अधिकारी को सौंपा गया निवेदन
Nashik News: पुणे के मॉडल कॉलोनी स्थित सेठ हीराचंद नेमचंद जैन दिगंबर बोर्डिंग की जमीन की बिक्री और पुनर्विकास के निर्णय को लेकर जैन समाज में तीव्र रोष निर्माण हुआ है. इसी विवादित सौदे के विरोध में सोमवार को नाशिक में सकल जैन समाज की ओर से भव्य मोर्चा निकाला गया. यह मोर्चा सुबह 10:30 बजे अशोक स्तंभ से जिलाधिकारी कार्यालय तक शांतिपूर्ण तरीके से निकाला गया. होस्टल हमारा वापस दो, सौदा इसका रद्द करो जैसे नारों के साथ यह आंदोलन संपन्न हुआ.
पुणे के इस ऐतिहासिक धर्मदाय संस्थान की लगभग 3.5 एकड़ भूमि एक विकासक कंपनी को लगभग 200 करोड़ रुपये के सौदे में देने का प्रस्ताव आया था. समाज के तीव्र विरोध के बाद धर्मादाय आयुक्त कार्यालय ने इस सौदे पर तत्काल स्थगन (स्टे ऑर्डर) जारी किया. इसके बाद बिल्डर कंपनी ने भी ईमेल के माध्यम से सौदा रद्द करने का निर्णय लिया. फिर भी जैन समाज का कहना है की आज सुबह गोखले बिल्डर्स की ओर से इस सौदे को रद्द करने का ईमेल आया है, लेकिन अभी भी कई कानूनी प्रक्रियाएं शेष हैं.
मामला न्यायालय में लंबित है, ट्रस्टियों की भूमिका अभी स्पष्ट नहीं है और सरकार की ओर से भी कोई ठोस निर्देश प्राप्त नहीं हुए हैं. इसलिए जब तक हॉस्टल की जमीन के दस्तावेजों पर पुनः एचएनडी हॉस्टल ट्रस्ट का नाम नहीं दर्ज होता, तब तक यह आंदोलन जारी रहेगा, ऐसा वक्तव्य मोर्चा संयोजक पारस लोहाडे और गणेश साखलाजैन ने दिया. मोर्चे में समाज के सभी पंथों के अनुयायी बड़ी संख्या में एकत्रित हुए. आज यह पुणे में हुआ है, कल कहीं और भी हो सकता है.
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एक रहें, सजग रहें इस नारे के साथ समाज ने एकजुटता का संदेश दिया. अपर जिलाधिकारी को यह निवेदन जैन सेवा संघ के अध्यक्ष सचिन गांग, अजित सुराणा, कांतिलाल बाफणा, नीता मोदी, सोनल दगड़े, मंजूषा पहाडे, राजन शाह, अनिल नाहर, पवन पाटनी, संतोष मंडलेचा, दीपक काले, सुमेरकुमार काले, सुनील चोपड़ा, सुनील कासलीवाल, विजय लोहाडे, प्रमोद लोहाडे, भारत ठोले, शैलेश दगड़े, विनोद माडीवाले और अतुल जैन ने सौंपा.






