गोदावरी घाट, नासिक (सौ. सोशल मीडिया )
Nashik News In Hindi: पिछले 10 से 15 वर्षों से ‘गोदावरी गटारीकरण विरोधी मंच’ और विभिन्न गैर-सरकारी पर्यावरण-समर्थक संगठन गणेशोत्सव के दौरान गोदावरी नदी के तट पर पर्यावरण संरक्षण के लिए सक्रिय हैं।
इस वर्ष भी, इन संगठनों ने नासिक महानगर पालिका के सहयोग से चोपड़ा लॉन्स में एक कृत्रिम तालाब बनाया और गणेश मूर्तियों का संग्रह किया। संगठनों ने ‘बचाओ भगवान’ (भ-भूमि, ग-गगन, वा-वायु, न-नदी) का नारा देते हुए पर्यावरण संरक्षण का संदेश दिया। उन्होंने कहा कि पर्यावरण द्वारा दिया गया यह समृद्ध और स्वस्थ जीवन हम भौतिक सुखों की लालसा में नष्ट कर रहे हैं, जिससे सभी जीवों की जीवन प्रत्याशा कम हो रही है।
इसलिए पर्यावरण की रक्षा के लिए सभी को आगे आना होगा। इस साल भी भक्तों से लगभग 500 से अधिक गणेश मूर्तियों का संग्रह किया गया, साथ ही बड़ी मात्रा में पूजा सामग्री (निर्माल्य) भी एकत्र की गई। स्वयंसेवकों ने भक्तों को गोदावरी नदी और उसकी सहायक नदियों नंदिनी, वरुणा, कपिला और वालदेवी को प्रदूषण मुक्त रखने के लिए जागरूक किया। उन्होंने प्लास्टर ऑफ पेरिस (पीओपी) के उपयोग पर प्रतिबंध लगाने का भी आह्वान किया।
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अधिकांश भक्तों ने अपनी गणेश मूर्तियों को स्वयंसेवकों को सौंप दिया या उन्हें स्वयं कृत्रिम तालाब में विसर्जित किया। इस पहल में निशिकांत बगारे, सुनील परदेशी, प्रो. सोमनाथ मुथाल, योगेश बर्वे, उदय थोरात, यशवंत नासिककर, श्रद्धा दुसाने, आरती अहिरे, रूपाली तांबोरे, स्पर्श बत्तासे, रोहिणी कुमावत और दिल्ली पब्लिक स्कूल की गुंजन शर्मा, अनुजा टी, सुप्रिति बी सहित कई अन्य लोग शामिल ब एचपीटी कॉलेज के प्रो. मनोज गिरम, जयकृष्ण देवरे, लकीकुमार सिंग, निखिल राय, अतिश यादव, बाधिका बलायर, नम्रता जाधव, कनिष्का शर्मा, आशु बडित, वेदांत तिवारी, कल्पेश अनकईकर, गणेश भिवरकर, गिरीश गांगुर्डे और अन्य छात्रों ने भी इस कार्यक्रम में सक्रिय रूप से भाग लिया।