प्रवीण गायकवाड़ पर हुए हमले पर चंद्रशेखर बावनकुले (सौजन्य-सोशल मीडिया)
Pravin Gaikwad assault case: महाराष्ट्र के सोलापुर में बीते दिन संभाजी ब्रिगेड नेता के साथ मारपीट करने का मामला सामने आया था। इस मामले में प्रवीण गायकवाड़ ने आरोप लगाया कि उनके ‘प्रगतिशील विचारों’ के कारण हिंदुत्व विचारधारा के अनुयायियों द्वारा उन्हें निशाना बनाया गया। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। विपक्ष ने भारतीय जनता पार्टी को इसके लिए जिम्मेदार ठहराया था।
इस पर राजस्व मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। संभाजी ब्रिगेड के प्रदेश अध्यक्ष प्रवीण गायकवाड़ पर स्याही फेंके जाने के मामले पर मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले का कहना है, “देखिए, भारतीय जनता पार्टी, हमारे नेताओं और मुझ पर जो आरोप लगाए जा रहे हैं, वो गलत हैं। प्रवीण गायकवाड़ के साथ जो हुआ वो ठीक नहीं है। पुलिस दीपक काटे के खिलाफ कार्रवाई करेगी।”
चंद्रशेकर बावनकुले ने आगे कहा, “दीपक काटे भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता हैं और वो मुझे गुलदस्ता देने आए थे। पंद्रह दिन पहले भी वो मुझे गुलदस्ता देने आए थे। हमने उनसे ऐसा कुछ करने को नहीं कहा था। लेकिन प्रवीण गायकवाड़ के साथ जो हुआ वो ठीक नहीं था। पुलिस को इस पर कार्रवाई जरूर करनी चाहिए। भारतीय जनता पार्टी का इससे कोई लेना-देना नहीं है।”
Nagpur, Maharashtra: On the matter of ink being thrown on Sambhaji Brigade state president Pravin Gaikwad, Minister Chandrashekhar Bawankule says, “Look, the allegations being made against the Bharatiya Janata Party, our leaders and me are wrong. What happened with Pravin Gaikwad… pic.twitter.com/L34H9Ta7xn
— IANS (@ians_india) July 14, 2025
दरअसल, सोलापुर जिले के अक्कलकोट गांव में स्वामी समर्थ पर कथित टिप्पणी को लेकर संभाजी ब्रिगेड के संस्थापक सदस्य प्रवीण गायकवाड़ के साथ एक संगठन के सदस्यों ने कथित रूप से मारपीट की। इतना ही नहीं रविवार को हुए इस मामले में प्रवीण पर स्याही फेंक दी। गायकवाड़ ने आरोप लगाया कि उनके ‘प्रगतिशील विचारों’ के कारण हिंदुत्व विचारधारा के अनुयायियों द्वारा उन्हें निशाना बनाया गया।
इसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। वीडियो में देखा जा सकता है कि दोपहर में गायकवाड़ को कुछ लोगों द्वारा उनकी कार से बाहर खींच लिया गया और उनके साथ मारपीट की गई। गायकवाड़ जब कार में थे तब शिवधर्म फाउंडेशन के समर्थकों ने विरोध प्रदर्शन किया और उन पर काली स्याही फेंकी जबकि उनकी कार में तोड़फोड़ करने की भी कोशिश की।
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श्री दत्तात्रेय के अवतार माने जाने वाले स्वामी समर्थ से जुड़े होने की वजह से अक्कलकोट प्रसिद्ध है और गायकवाड़ यहां एक शैक्षणिक संस्थान तथा सकल मराठा समाज द्वारा आयोजित सम्मान समारोह में भाग लेने आए थे। प्रदर्शनकारियों ने गायकवाड़ द्वारा छत्रपति संभाजी महाराज को ‘संभाजी’ कहे जाने पर भी आपत्ति जताई।
इस पूरे मामले में पुलिस ने दीपक काटे और शिवधर्म फाउंडेशन के छह अन्य सदस्यों पर भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 115 (2), 189, 190 और 191 के तहत दंगा करने का मामला दर्ज कर उन्हें हिरासत में ले लिया। बाद में पुलिस द्वारा नोटिस जारी करने के बाद उन्हें जाने दिया गया।
(एजेंसी इनपुट के साथ)