मनपा के कुप्रबंधन का सिलसिला जारी (सौजन्यः सोशल मीडिया)
Nagpur Municipal Corporation: केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने पिछली कई बैठकों में महानगरपालिका के विभिन्न विभागों को समन्वय से काम करने का निर्देश दिया है। ऐसा लगता है कि महानगरपालिका के विभिन्न विभाग मूकदर्शक बन गए हैं और मंत्री के आदेश की भी अवहेलना करने पर उतारू हो गए हैं। ऐसा ही एक ताजा उदाहरण वर्धा रोड स्थित न्यू स्नेहनगर में सीमेंट सड़क पर देखने को मिला। पिछले को एक सप्ताह बनकर तैयार हुई सड़क सप्ताह के बाद ही खोद डाला गया। 6 महीने से परेशानी झेल रहे इस क्षेत्र के निवासियों को फिर से सिरदर्द से गुजरना पड़ रहा है।
महानगरपालिका के इस अजीबोगरीब प्रबंधन को लेकर कमोबेश शहर के सभी हिस्सों में गुस्सा जताया जा रहा है। हाल ही में काम की घटिया गुणवत्ता को लेकर भी नाराजगी जताई जा रही है क्योंकि स्वावलंबीनगर में एक सप्ताह पहले लगाया गया आई-ब्लॉक जमीन में धंस गया है। पिछले कई वर्षों से शहर में सीमेंट की सड़कों के निर्माण के बाद पानी की पाइप और सीवर के लिए खुदाई की जा रही है।खुदाई के बाद सड़कों को फिर से भरने और उन्हें साफ करने में उपेक्षा बरती जा रही है। इसके कारण कई लोग ऊबड़-खाबड़ सड़कों और गड्डों से गुजरने की कोशिश करते हुए दुर्घटनाग्रस्त हो गए। कई मामूली रूप से घायल हो गए।
यह मुख्य रूप से मनपा और इस पर काम कर रही विभिन्न एजेंसियों और ठेकेदार कंपनियों के बीच समन्वय की कमी को दर्शाता है। न्यू स्नेहनगर में सड़क के नवीनीकरण से मनपा के विभिन्न विभागों के बीच समन्वय की कमी स्पष्ट है। मनपा ने इस सड़क के निर्माण में 6 से 8 महीने की अवधि लगाई। इस सड़क के नीचे पानी की पाइप के साथ-साथ ड्रेनेज और सीवेज लाइन भी डाली गई थी। इन कार्यों के कारण सीमेंट सड़क के काम में अधिक समय लगा। इसके कारण यहां के नागरिकों को अपने घरों से वाहन निकालने और फिर से लौटने का दर्द सहना पड़ा। नागरिकों में इस बात की भी खुशी थी कि यह सड़क पिछले 10 दिनों से चालू है।
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15 दिन पहले पुलिस आयुक्त डॉ. रवींद्र कुमार सिंगल, मनपा आयुक्त अभिजीत चौधरी, नागपुर महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण आयुक्त संजय मीणा समेत कई प्रमुख अधिकारियों की बैठक में शहर की सड़कों को अच्छी सड़कें बनाने का निर्णय लिया गया था। मनपा आयुक्त ने कहा था कि सड़कों की योजना बनाते समय नागरिकों की सुविधा और स्वास्थ्य का ध्यान रखा जाना चाहिए, जबकि पुलिस आयुक्त ने सड़कों को सुरक्षित और समावेशी बनाने के लिए सभी संबंधित विभागों के समन्वय से काम करने की आवश्यकता पर जोर दिया था। शहर में चल रहे विभिन्न सड़क निर्माण कार्यों और सीवेज लाइन व ड्रेनेज लाइन से जुड़े विभागों के बीच समन्वय न होने से यह सवाल उठ खड़ा हुआ है कि अच्छी सड़कें कैसे बनेंगी।
मनपा ने दावा किया था कि इंस्टा पैचर और हॉटमिक्स विभाग ने जून और जुलाई 2 महीनों में 1,187 गड्ढे भरे हैं। हालांकि यह देखा गया है कि शहर की हर डामर सड़क पर गड्ढे अभी भी बने हुए हैं। कहीं गड्ढे हैं तो कहीं चेंबर के ढक्कन गायब हैं। ऐसी सड़कों पर श्रीगणेश की यात्रा खतरनाक साबित हो सकती है। सेंट्रल एवेन्यू की हालत ही खस्ता है। मोक्षधाम, गणेशपेठ भी संकट को न्योता दे रहा है। बैद्यनाथ चौक, अशोक चौक से लोग गुजरने के बारे में भी नहीं सोच सकते हैं।