कॉन्सेप्ट फोटो (सोर्स: सोशल मीडिया)
Foreign Travel Driving Permit India: विदेश यात्रा में लगातार हो रही बढ़ोतरी का सीधा असर अब आरटीओ में जारी होने वाले इंटरनेशनल ड्राइविंग लाइसेंस जिसे इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट भी कहते हैं, उसकी मांग पर भी दिखाई दे रहा है। 1 अप्रैल 2024 से 31 मार्च 2025 के बीच मुंबई सेंट्रल आरटीओ को कुल 6,784 आवेदन प्राप्त हुए, जिनमें से 6,684 परमिट जारी किए गए, जबकि लगभग 100 आवेदन विभिन्न कारणों से अस्वीकार कर दिए गए।
अधिकारियों के अनुसार विदेशों में पर्यटन, नौकरी और व्यावसायिक यात्राओं में हो रही वृद्धि ने आईडीपी की मांग को पहले की तुलना में कहीं अधिक बढ़ा दी है।
बता दें कि अंतरराष्ट्रीय ड्राइविंग परमिट किसी भी देश में वाहन चलाने के लिए आवश्यक दस्तावेज है, जो मौजूदा भारतीय लाइसेंस को वैध अंतरराष्ट्रीय स्वरूप में बदल देता है।
मुंबई सेंट्रल आरटीओ के अनुसार दक्षिण मुंबई से आने वाले आवेदकों की संख्या सबसे अधिक है। इस क्षेत्र में कई बड़े उद्योगपति, फिल्म उद्योग से जुड़े लोग और विदेश यात्रा करने वाला उच्च आय वर्ग निवास करता है। विदेशों में बार-बार यात्रा करने वाले इन लोगों के बीच आईडीपी की मांग सबसे ज्यादा बनी हुई है।
परमिट जारी होने के आधार पर कुछ स्थान सबसे अधिक लोकप्रिय है। जिसमें अमेरिका, कनाडा, दुबई, जापान, यूरोप के कई देश शामिल है। इस साल कुल 6,784 आवेदन प्राप्त हुए। जिसमें से 6,684 को परमिट दिया गया। वहीं 100 आवेदन अस्वीकृत किए गए।
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यह परमिट एक वर्ष के लिए मान्य होता है और विदेशों में ड्राइवर पदों के लिए आवेदन करने में भी सहायक होता है। इसलिए सामान्य यात्री हो या नौकरी की तलाश में जा रहे युवक-युवतियां, आईडीपी अब विदेश यात्रा की तैयारियों में सबसे पहले शामिल किया जा रहा है। अधिकारियों का कहना है कि चूंकि आईडीपी सीधे आरटीओ कार्यालय से जारी होता है। इसलिए इसके लिए किसी एजेंट या मोटर ड्राइविंग स्कूल की जरूरत नहीं पड़ती। ऑनलाइन आवेदन ‘सारथी पोर्टल’ के माध्यम से जमा किया जाता है और बाद में दस्तावेजों का सत्यापन आरटीओ कार्यालय में होता है।