सौर ऊर्जा आधारित बिजली के लिए राज्य सरकार लाएगी स्वतंत्र योजना। (सौजन्यः सोशल मीडिया)
मुंबई: केंद्र सरकार ने 0 से 300 यूनिट तक बिजली उपयोग करने वाले उपभोक्ताओं के लिए ‘प्रधानमंत्री सूर्यघर मुफ्त बिजली योजना’ शुरू की है। इस योजना के तहत, ऐसे उपभोक्ताओं को रूफटॉप सोलर पैनल उपलब्ध कराए जा रहे हैं।
केंद्र सरकार की इस योजना के पूरक के रूप में, राज्य सरकार अपनी एक स्वतंत्र योजना लाने वाली है, इसकी जानकारी मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने विधानसभा में प्रश्नोत्तर काल के दौरान दी। बिजली दरों में बढ़ोतरी के मुद्दे को सदस्य मुरजी पटेल ने उठाया, जिसमें सदस्य भास्कर जाधव ने भी चर्चा में भाग लिया।
मुख्यमंत्री ने आगे बताया कि राज्य में बिजली दरों को कम करने के लिए सरकार प्रयास कर रही है। महाराष्ट्र विद्युत नियामक आयोग के समक्ष अगले पांच वर्षों के लिए एक बहुवर्षीय टैरिफ याचिका प्रस्तुत की गई है। इसके परिणामस्वरूप, राज्य में अगले पांच वर्षों तक हर साल बिजली की दरें कम होंगी। महाराष्ट्र देश का पहला राज्य है जिसने अगले पांच वर्षों तक बिजली दरों में वार्षिक कमी की याचिका दायर की है।
महाराष्ट्र की अन्य खबरें पढ़ने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें…
मुंबई शहर के लिए भी बेस्ट, टाटा पावर, अडानी और महावितरण जैसी बिजली वितरण कंपनियों ने विद्युत नियामक आयोग के समक्ष बहुवर्षीय टैरिफ याचिका प्रस्तुत की है। मुंबई में बड़ी इमारतों को पारंपरिक और गैर-पारंपरिक दोनों तरीकों से बिजली उपलब्ध कराई जा रही है। सरकार उन इमारतों के लिए एक नई योजना बनाने पर विचार कर रही है, जिनमें उनकी मौजूदा क्षमता से अधिक बिजली उत्पन्न करने की क्षमता है।
बिजली दरों को मंजूरी देने का अधिकार विद्युत नियामक आयोग के पास है। सरकार ने अगले पांच वर्षों के लिए निर्धारित दरों को आयोग के समक्ष अनुमोदन के लिए प्रस्तुत किया है। सभी नियामक प्रक्रियाओं का पालन करने के बाद, 2025-26 से 2029-30 की अवधि के लिए बिजली टैरिफ आदेश जारी किए जाएंगे, और उसी के अनुसार बिजली वितरण कंपनियां दरें लागू करेंगी, मुख्यमंत्री फडणवीस ने बताया।