मुंबई मंत्रालय (pic credit; social media)
Compassionate Policy Decision: महाराष्ट्र सरकार ने लंबे समय से अनुकंपा तत्त्व पर लंबित नियुक्तियों को लेकर बड़ा कदम उठाया है। सरकार ने घोषणा की है कि अनुकंपा नीति के अंतर्गत करीब 10 हजार से अधिक रिक्त पदों को भरा जाएगा। इनमें चौथी श्रेणी के लगभग 9,658 पद भी शामिल हैं। विशेष बात यह है कि इन सभी नियुक्तियों की प्रक्रिया 15 सितंबर तक पूरी कर ली जाएगी।
इतिहास में पहली बार राज्य में इतनी बड़ी भर्ती अनुकंपा नीति के अंतर्गत की जा रही है। आमतौर पर चौथी श्रेणी की भर्तियां निजी ठेकेदारों के माध्यम से होती थीं, लेकिन इस बार सीधे राज्य सरकार इन पदों को भरेगी। इस निर्णय से हजारों परिवारों को बड़ी राहत मिलने वाली है, जिनके आश्रित कई वर्षों से नियुक्ति की प्रतीक्षा में थे।
अनुकंपा नीति वर्ष 1973 से लागू है और इसमें समय-समय पर सुधार किए जाते रहे हैं। इस नीति के तहत सरकारी या अर्ध-सरकारी कर्मचारियों की सेवा के दौरान मृत्यु होने पर उनके पात्र परिजनों को नौकरी प्रदान की जाती है। खासकर ग्रुप-C और ग्रुप-D के पदों पर यह सुविधा उपलब्ध है।
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राज्यभर में इस समय महानगरपालिका, नगरपालिका और जिला परिषदों में कुल 9,568 उम्मीदवार अनुकंपा नियुक्ति के लिए प्रतीक्षा सूची में हैं। इनमें सबसे ज्यादा 5,228 उम्मीदवार महानगरपालिकाओं में, 3,705 जिला परिषदों में और 725 उम्मीदवार नगरपालिकाओं में शामिल हैं।
जिलों की बात करें तो नांदेड़ में सबसे अधिक 506 उम्मीदवार प्रतीक्षा कर रहे हैं। इसके बाद पुणे (348), गड़चिरोली (322) और नागपुर (320) का क्रम आता है। सरकार के इस फैसले से सभी को सीधा लाभ मिलेगा। यह पूरी नियुक्ति प्रक्रिया जिलाधिकारियों के मार्गदर्शन में संचालित होगी। राज्य सरकार का मानना है कि यह कदम न केवल पारदर्शिता लाएगा, बल्कि उन परिवारों को भी सहारा देगा जो अपने परिजन को खोने के बाद आर्थिक संकट से जूझ रहे हैं।