अनिल परब व रामदास कदम (सोर्स: सोशल मीडिया)
Maharashtra News In Hindi: उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की शिवसेना के बीते गुरुवार को गोरेगांव-पूर्व स्थित नेस्को परिसर में हुए दशहरा सम्मेलन में पूर्व मंत्री एवं शिवसेना शिंदे गुट के नेता और रामदास कदम ने शिवसेना प्रमुख बालासाहेब ठाकरे के निधन को लेकर पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे पर गंभीर आरोप लगाए थे।
कदम ने सनसनीखेज दावा किया कि बालासाहेब ठाकरे का पार्थिव शरीर दो दिनों तक मातोश्री में रखा था। इस दौरान उनकी उंगलियों के निशान भी लिए गए थे।
कदम के बयान का शिवसेना यूबीटी के सांसद संजय राउत और विधायक नेता अनिल परब ने कदम पर शनिवार को जोरदार हमला बोला। परब ने शनिवार एक पत्रकार परिषद में कदम की पत्नी के साथ हुए हादसे को लेकर गंभीर आरोप लगाए।
अनिल परब ने कहा कि वर्ष 1993 में रामदास कदम की पत्नी ज्योति कदम ने जल गई थीं। लेकिन वह हादसा था या फिर ज्योति कदम ने खुद की जलाया था अथवा किसी और उन्हें जलाया था। इसकी जांच होनी चाहिए।
परब ने रामदास कदम के नार्को टेस्ट कराने की मांग करते हुए कहा कि सब जानते हैं कि कदम ने किसके लिए बंगले बना, उस पर क्या राजनीति हुई? यदि कदम का नार्को टेस्ट नहीं हो सकता, तो उनके बेटे योगेश कदम गृह राज्य मंत्री हैं। परब ने उन्हें चुनौती देते हुए कहा कि योगेश खुद अपने पिता के कारोबार की जांच करवा लें।
अनिल परब ने कहा कि हमें कदम की बातों का जवाब देने की ज़रूरत नहीं थी। मैं लड़की-महिलाओं को नचाने वाले को जवाब देना जरूरी नहीं समझता हूं लेकिन रामदास ने दशहरा सम्मेलन में घटिया हरकत की। परब ने कहा कि बालासाहेब की मृत्यु के बारे में कदम का दावा शत प्रतिशत झूठा है।
शिवसेना यूबीटी नेता ने कहा कि जब बालासाहेब ठाकरे का निधन हुआ, तब मैं विभागप्रमुख था। इसलिए यह जिम्मेदारी मुझ पर थी। मैं 24 घंटे वहां मौजूद था। उस समय जो कुछ भी हुआ, मैं उसका गवाह हूं। बालासाहेब को देखने के लिए लोगों की भारी भीड़ रहती थी।
परब ने पत्रकारों से सवाल पूछते हुए कहा कि क्या कोई शव शव पेटी के बगैर दो दिन तक सुरक्षित रखा जा सकता है? क्या रामदास कदम का सामान्य ज्ञान इतना कमजोर है कि वह यह बात समझ नहीं पा रहा? उन्होंने आगे कहा कि अब, 14-15 साल बाद, रामदास कदम की आवाज क्यों फूट रही है?
बालासाहेब के निधन के बाद, यही रामदास कदम मंत्री बने, उद्धव ठाकरे ने ही उन्हें मंत्री बनाया था। उद्धव बुरे हैं तो कदम ने उस समय क्यों नहीं किया? पिछले 12 सालों से उनका मुंह क्यों बंद था?
शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने कहा कि महाराष्ट्र जानता है कि ठाकरे कौन है। इसलिए मैं गद्दार एवं नमकहरामों को जवाब नहीं देता।
अनिल परब की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद रामदास कदम ने कहा कि अनिल परब शायद एक अधूरे वकील हैं। उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके अपनी अज्ञानता का परिचय दिया।
कदम ने कहा कि मैं नहीं चाहता था कि बालासाहेब का मामला अदालत में जाए। लेकिन यदि आप मुझ पर और डॉक्टर पर झूठ बोलने का आरोप लगाएंगे तो मुझे अदालत जाना पड़ेगा। मैं सीबीआई जांच की मांग करूंगा। आपको पीलिया हो गया है। आप देख नहीं पाएंगे। लेकिन मैं आज भी अपने आरोपों पर अडिग हूं।
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रामदास कदम ने कहा कि मेरी पत्नी अनिल परब के खिलाफ कोर्ट जाएंगी। परब ने हमारी बदनामी करने का प्रयास किया है। क्या अनिल परब को पता है कि उस समय क्या हुआ था? मेरी पत्नी दो स्टोव पर खाना बना रही थी। साड़ी में आग लग गई और आग फैल गई। मैंने उसे बचाया। मेरे हाथ जल गए। मेरी पत्नी छह महीने तक जसलोक में भर्ती रही। मैं जसलोक में था।
आज भी हम जिंदगी खुशहाल जिंदगी जी रहे हैं। आप क्या बात कर रहे हैं? आपने हमें इस तरह बदनाम किया है। हम मुकदमा करेंगे। मैं इस मामले में पहली बार कोर्ट जा रहा हूँ। मैं मानहानि का मुकदमा करने जा रहा हूँ।मैं नार्को टेस्ट के लिए तैयार हूं। मैं कल भी तैयार हूं। लेकिन यदि यह साबित नहीं होता है, तो मुझे बताएं कि आपको क्या सजा दी जानी चाहिए।