Pic: Social Media
मुंबई: कांग्रेस नेता पृथ्वीराज चव्हाण ने अन्य देशों में सामने आए मंकीपॉक्स के मामलों पर चिंता जाहिर करते हुए महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को पत्र लिखकर मुंबई हवाई अड्डे पर सख्त परीक्षण और पृथकवास नियमों को लागू करने की मांग की। बीते शनिवार को चव्हाण ने कहा कि विश्व स्वास्थ्य संगठन ने मंकीपॉक्स को सार्वजनिक स्वास्थ्य आपात घोषित कर दिया है और यह वायरस अब पाकिस्तान तक पहुंच गया है। उन्होंने सरकार से भारत में इसके प्रसार को रोकने के लिए उचित कदम उठाने की अपील की।
इस बाबत महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री चव्हाण ने ‘x’ पर कहा, ”मंकीपॉक्स आज हमारे पड़ोस तक पहुंच गया है। हमें कार्रवाई करनी होगी। मैंने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर ऐसे देशों से आने वाले सभी यात्रियों के लिए मुंबई हवाई अड्डे पर सख्त परीक्षण और पृथकवास नियमों को लागू करने की मांग की है, जहां मंकीपॉक्स संक्रमण का अधिक खतरा है।” उन्होंने चेताया कि इस समस्या के संबंध में समय पर कार्रवाई आवश्यक है क्योंकि किसी भी तरह की देरी होने पर इसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं।
यहां पढ़ें- मेडिकल-मेयो में अब तक 90 मरीजों की मौत, प्राइवेट ओपीडी बंद होने से भटकते रहे मरीज
जानकारी दें कि केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बीते शनिवार को कहा कि भारत में फिलहाल मंकीपॉक्स का कोई भी मामला सामने नहीं आया है, हालांकि इस बीमारी को फैलने से रोकने और नियंत्रित करने के लिए एहतियाती कदम उठाए जाएंगे। इस समीक्षा बैठक में आगामी हफ्तों में बाहर से आने वाले कुछ मामलों का पता चलने की संभावना को पूरी तरह से खारिज नहीं किया गया है, लेकिन यह आकलन जरुर किया गया कि निरंतर संचरण के साथ बड़े प्रकोप का जोखिम वर्तमान में भारत के लिए कम है।
इस बाबत मंत्रालय ने कहा था कि फिलहाल भारत में मंकीपॉक्स का कोई मामला सामने नहीं आया है। बयान में कहा गया था कि मंत्रालय द्वारा स्थिति पर नजर रखी जा रही है।
यहां पढ़ें – नागपुर कोर्ट में वकील को आया हार्ट अटैक, जज खुद ले गए अस्पताल
गौरतलब है कि WHO द्वारा 14 अगस्त को मंकीपॉक्स को सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकाल (PHEIC) घोषित किए जाने के मद्देनजर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जे पी नड्डा ने यहां मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक में मंकीपॉक्स की स्थिति और तैयारियों की विस्तृत समीक्षा की थी। बैठक में यह निर्णय लिया गया था कि पूर्ण रूप से सावधानी बरतने के लिए सभी हवाई अड्डों, बंदरगाहों और सीमा प्रवेश स्थलों पर स्वास्थ्य इकाइयों को सतर्क करना, जांच प्रयोगशालाओं को तैयार करना, किसी भी मामले का पता लगाना, उसे पृथक करना और उसका प्रबंधन करने के लिए स्वास्थ्य सुविधाओं को तैयार करना, जैसे उपाय किए जाएं।
(एजेंसी अपडेट के साथ)