चुनाव में लगा रहे एड़ी-चोटी का जोर (सौजन्यः सोशल मीडिया)
अकोला: अभी पूरी तरह से मनपा चुनाव को लेकर वातावरण का निर्माण नहीं हुआ है, क्योंकि जब तक प्रभाग रचना नहीं होती तब तक मनपा चुनाव को लेकर गतिविधियां तेज नहीं हो सकती हैं। फिर भी मनपा चुनाव को लेकर सभी राजनीतिक पार्टियों में मंथन शुरू है। पिछले अनेक वर्षों से मनपा में भाजपा की सत्ता रही है। उसके पूर्व कांग्रेस की सत्ता थी, जिसमें कांग्रेस की सभी मित्र पार्टियां शामिल थीं।
इस बार भाजपा और कांग्रेस द्वारा मनपा चुनाव जीतने हेतु रणनीति बनाई जा रही है। यहां होने जा रहे मनपा चुनाव को लेकर कांग्रेस संगठन काफी आशान्वित है कि निश्चित ही कांग्रेस संगठन को सफलता मिलेगी। इसका मुख्य कारण यह है कि अनेक वर्षों बाद अकोला पश्चिम विस चुनाव क्षेत्र में कांग्रेस प्रत्याशी के रूप में विधायक साजिद खान पठान की जीत हुई है।
उस अनुसार कांग्रेसियों के मन में एक अपेक्षा है कि निश्चित ही इस मनपा चुनाव में कांग्रेस संगठन को सफलता मिलेगी। उस अनुसार अकोला पश्चिम के कांग्रेसी विधायक साजिद खान पठान अपनी ओर से लगातार जोर लगा रहे हैं। उन्हें पूरा विश्वास है कि निश्चित ही इस बार मनपा चुनाव में कांग्रेस को बहुमत मिलेगा। इस तरह कांग्रेस के महानगराध्यक्ष डॉ. प्रशांत पाटिल वानखडे भी मनपा चुनाव को लेकर काफी आशान्वित देखे जा रहे हैं।
यह उल्लेखनीय है कि आने वाले मनपा चुनाव में भाजपा एक बार फिर जीत हासिल करना चाहती है। अकोला मनपा की सीमा में जहां अकोला पश्चिम चुनाव क्षेत्र का समावेश है, वहीं पूर्व विस क्षेत्र का भी काफी भाग अकोला मनपा की सीमा में आता है।
जहां अकोला पश्चिम विस क्षेत्र में भाजपा प्रत्याशी विजय अग्रवाल को पराजय का सामना करना पड़ा, वहीं अकोला पूर्व विस क्षेत्र में रणधीर सावरकर ने भाजपा प्रत्याशी के रूप में जीत हासिल की है। वे खुद आने वाले मनपा चुनाव में जीत हासिल करने हेतु लगातार प्रयास कर रहे हैं।
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इसी तरह विस चुनाव में पराजित हुए भाजपा के पूर्व महापौर विजय अग्रवाल भी आने वाले मनपा चुनाव को लेकर काफी आशान्वित हैं। इस तरह विधायक रणधीर सावरकर और विजय अग्रवाल लगातार लोगों से संपर्क कर रहे हैं। भाजपा यही चाहती है कि अकोला मनपा में पुन: सत्ता हासिल करें, इसके लिए भाजपा विधायक रणधीर सावरकर लगातार सक्रिय रूप से कार्य कर रहे हैं।
इसी तरह राकां शरद पवार गुट, राकां अजीत पवार गुट, शिवसेना उबाठा, शिवसेना शिंदे गुट, वीबीए, सपा, मनसे, एआईएमआईएम आदि सभी पार्टियों ने अपने-अपने तरीके से मतदाताओं से संपर्क करने का काम शुरू कर दिया है।