स्वामी चैतन्यानंद आगरा से गिरफ्तार (फोटो- सोशल मीडिया)
Delhi Police Arrest Swami Chaitanyananand Saraswati: दिल्ली के एक प्रतिष्ठित निजी मैनेजमेंट संस्थान में छात्राओं के यौन उत्पीड़न का मामला सामने आया था, जिसमें स्वघोषित संत स्वामी चैतन्यानंद सरस्वती को मुख्य आरोपी है। कई दिनों की तलाशी के बाद, दिल्ली पुलिस की टीम ने आरोपी को यूपी के आगरा से सफलतापूर्वक गिरफ्तार कर लिया है। छात्राओं द्वारा लगाए गए गंभीर आरोपों के बाद से ही चैतन्यानंद फरार चल रहा था। पुलिस उसकी आखिरी लोकेशन के आधार पर आगरा और उसके आसपास के इलाकों में लगातार छापेमारी कर रही थी, जिसके परिणामस्वरूप उसे अब हिरासत में ले लिया गया। फिलहाल, पुलिस आरोपी से गहन पूछताछ कर रही है और मेडिकल जांच की प्रक्रिया पूरी की जा रही है।
यह पूरा मामला तब प्रकाश में आया जब आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग की एक छात्रा ने इस साल मार्च महीने में संस्थान के पूर्व अध्यक्ष, 62 वर्षीय चैतन्यानंद के खिलाफ पहली शिकायत दर्ज कराई। छात्रा ने आरोप लगाया था कि 60,000 रुपये का दान देने के बावजूद उस पर और अधिक पैसों के लिए दबाव बनाया जा रहा था। जब उसने असमर्थता जताई, तो चैतन्यानंद ने उसे तीन विकल्प दिए थे कि या तो वह 60,000 रुपये और दे, या एक साल तक संस्थान में बिना वेतन के काम करे, या फिर कॉलेज छोड़कर चली जाए। इस शिकायत ने संस्थान के भीतर छिपे एक बड़े रैकेट का पर्दाफाश कर दिया।
प्रबंधन संस्थान के प्रशासन ने जब इस मामले की जांच के लिए 30 से अधिक छात्राओं के साथ एक वर्चुअल मीटिंग की, तो कई और चौंकाने वाले खुलासे हुए। कई छात्राओं ने हिम्मत दिखाते हुए चैतन्यानंद द्वारा किए गए यौन उत्पीड़न, छेड़छाड़ और धमकियों की दर्दनाक आपबीती सुनाई। छात्राओं ने बताया कि चैतन्यानंद उन्हें देर रात अपने क्वार्टर में आने के लिए मजबूर करता था और ऐसा न करने पर उन्हें परीक्षा में फेल करने की धमकी देता था। इन गंभीर आरोपों के आधार पर 4 अगस्त को चैतन्यानंद के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई थी।
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जांच में यह भी सामने आया है कि चैतन्यानंद ने संस्थान के अंदर अपने वफादारों का एक मजबूत नेटवर्क बना रखा था। उसने कई अयोग्य लोगों को महत्वपूर्ण पदों पर नियुक्त कर रखा था, जो उसके हर गलत काम में उसका साथ देते थे। इन वफादारों की मदद से वह छात्राओं पर दबाव बनाता और उनकी आवाज को दबाने की कोशिश करता था। उसकी गिरफ्तारी को छात्राओं के लिए न्याय की दिशा में एक बड़ी जीत के रूप में देखा जा रहा है। अब पुलिस इस नेटवर्क से जुड़े अन्य लोगों की भूमिका की भी जांच कर रही है ताकि इस मामले में शामिल सभी दोषियों को सजा दिलाई जा सके।