पूर्व पीएम मनमोहन सिंह (सोर्स-सोशल मीडिया)
नवभारत डेस्क: आज यानी गुरुवार 26 सितंबर 2024 को देश के पूर्व पीएम मनमोहन सिंह का जन्मदिन है। वह 92 साल के हो चुके हैं। मनमोहन सिंह की गिनती कांग्रेस के दिग्गज नेताओं में होती है। वह 2004 से 2014 तक यूपीए सरकार में देश के प्रधानमंत्री रहे। मनमोहन सिंह अर्थशास्त्री, शिक्षाविद और नौकरशाह भी रहे हैं। 1991 से 1996 तक वह नरसिम्हा राव सरकार में वित्त मंत्री रहे। इसके अलावा मनमोहन सिंह के बारे में एक और चौंकाने वाला तथ्य है जिसके बारे में शायद ही आप जानते होंगे।
आर्थिक सुधारों के सूत्रधार माने जाने वाले 91 वर्षीय मनमोहन सिंह 1991 से 2024 तक राज्यसभा के सदस्य रहे। मनमोहन सिंह पहली बार 1991 में राज्यसभा के लिए चुने गए थे। इसके बाद वह 1995, 2001, 2007 और 2013 में दोबारा चुने गए। 1998 से 2004 तक केंद्र में बीजेपी की सरकार थी, तब मनमोहन सिंह राज्यसभा में विपक्ष के नेता थे। लेकिन क्या आप जानते हैं कि मनमोहन सिंह ने भी लोकसभा चुनाव में अपनी किस्मत आजमाई थी। हालांकि, वे जीतने में सफल नहीं हुए।
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1999 में कांग्रेस ने उन्हें दक्षिण दिल्ली से उम्मीदवार बनाया था। उन्हें भाजपा के विजय कुमार मल्होत्रा के हाथों हार का सामना करना पड़ा था। उस चुनाव में विजय कुमार मल्होत्रा को 2 लाख 61 हजार 230 वोट मिले थे, जबकि मनमोहन सिंह को 2 लाख 31 हजार 231 वोट मिले थे। तीसरे स्थान पर निर्दलीय मोहम्मद शरीफ रहे थे। इसके बावजूद वह 33 साल तक संसद राज्यसभा सांसद के तौर पर संसद में उपस्थित रहे।
पूर्व पीएम मनमोहन सिंह 26 सितंबर 1932 को अविभाजित भारत के पंजाब प्रांत के एक गांव में जन्मे थे। डॉ. सिंह ने 1948 में पंजाब विश्वविद्यालय से मैट्रिक की परीक्षा पूरी की। उनका शैक्षणिक करियर पंजाब से ब्रिटेन के कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय तक गया, जहां उन्होंने 1957 में अर्थशास्त्र में डिग्री हासिल की। मनमोहन सिंह ने ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय से भी डिग्री हासिल की है। 1971 में मनमोहन सिंह आर्थिक सलाहकार के तौर पर भारत सरकार के वाणिज्य मंत्रालय में शामिल हुए। इसके तुरंत बाद 1972 में उन्हें वित्त मंत्रालय में चीफ इकोनॉमिक एडवाइजर नियुक्त किया गया।
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डॉ. मनमोहन सिंह ने कई सरकारी पदों पर काम किया। इसमें वित्त मंत्रालय में सचिव का पद भी शामिल है। वे योजना आयोग के उपाध्यक्ष भी रहे। वे भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर भी रहे। इतना ही नहीं, वे प्रधानमंत्री के सलाहकार और विश्वविद्यालय अनुदान आयोग के अध्यक्ष भी रहे। डॉ. मनमोहन सिंह ने 1991 से 1996 के बीच देश के वित्त मंत्री के तौर पर पांच साल बिताए। तब देश इकोनॉमिक क्राइसिस से गुजर रहा था। आर्थिक सुधारों दिशा में उनके योगदान को दुनिया आज भी सलाम करती है।