वर्क फ्रॉम होम। इमेज-एआई
Gurugram News: दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण लगातार बढ़ रहा है। इसे कम करने के लिए गुरुग्राम में सभी प्राइवेट कंपनियों के कर्मचारियों को घर से काम करने की सलाह दी गई है। गुरुग्राम के डिप्टी कमिश्नर ने प्राइवेट कंपनियों को कहा है कि कर्मचारियों को वर्क फ्रॉम होम की सुविधा दें। जिला प्रशासन ने सभी सरकारी कार्यालयों के समय में भी बदलाव किया है।
दरअसल, दिल्ली-एनसीआर में खराब हवा के कारण ग्रैप-4 लागू किए गए हैं। वैसे, ठंड और कोहरे के कारण एक्यूआई कम नहीं हो रहा है। ऐसे में हवा को साफ करने के लिए अतिरिक्त प्रयास किए जा रहे हैं। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के समीर ऐप पर उपलब्ध आंकड़ों के अनुसार दिल्ली और आसपास की हवा बेहद खराब श्रेणी में है। आज सुबह गुरुग्राम का एक्यूआई 325 दर्ज किया गया। यह बहुत खराब श्रेणी में आता है। दिल्ली में एक्यूआई 366 दर्ज किया गया।
गुरुग्राम के डिप्टी कमिश्नर अजय कुमार ने एक सलाह जारी कर क्षेत्र के सभी प्राइवेट ऑफिसों से अपील की है कि अगले आदेश तक वे घर से काम करने का मॉडल अपनाएं। दिल्ली-एनसीआर में हवा की स्थिति बेहतर होने पर अगला आदेश जारी किया जाएगा। इस सलाह के तहत गुरुग्राम जिला प्रशासन ने गुरुग्राम में राज्य सरकार और नगर निकायों के सभी सार्वजनिक कार्यालयों के समय में संशोधन कर दिया है। प्रशासन ने आदेश जारी किया है कि गुरुग्राम में राज्य सरकार के सभी कार्यालय सुबह 9:30 बजे से शाम 5:30 बजे तक खुले रहेंगे।
#Advisory | In view of the deteriorating air quality, the Commission for Air Quality Management (CAQM) has invoked Stage-IV of the Graded Response Action Plan (GRAP) in Delhi & NCR vide order dated 13.12.2025. 🔹As per the directions, State Governments/ GNCTD may allow offices… pic.twitter.com/OdSjRSuPyI — DC Gurugram (@DC_Gurugram) December 21, 2025
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गुरुग्राम नगर निगम और मानेसर नगर निगम के ऑफिस सुबह 8:30 बजे से शाम 4:30 बजे तक खुलेंगे। सोहना नगर परिषद, पटौदी मंडी नगर परिषद और फर्रुखनगर नगर समिति के ऑफिस सुबह 8:30 बजे से लेकर शाम 4:30 बजे तक खुलेंगे। ऑफिस समय में बदलाव का उद्देश्य व्यस्त समय के दौरान आवागमन को सुगम बनाना है। सुबह और शाम के समय ट्रैफिक जाम को कम करना है। जिला प्रशासन ने कहा कि यह निर्देश तब तक लागू रहेगा, जब तक क्षेत्र में ग्रैप-4 प्रभावी रहेगा। अधिकारियों ने कहा है कि ये कदम जन स्वास्थ्य और पर्यावरण संरक्षण के हित में उठाए जा रहे हैं। इसके साथ ही यह भी कहा कि यदि वायु गुणवत्ता में सुधार नहीं होता है तो और भी कार्रवाई की जा सकती है।