क्यों खाते हैं गुड फ्राइडे के दिन मछली (सौ.सोशल मीडिया)
Good Friday 2025 : आज पूरे देश भर में गुड फ्राइडे हर्षोल्लास एवं धूमधाम के साथ मनाया जा रहा है। गुड फ्राइडे ईसाई धर्म का मुख्य त्योहार है। यह पावन दिन प्रभु यीशु मसीह के बलिदान की याद में मनाया जाता है। गुड फ्राइडे हर साल ईस्टर संडे से पहले पड़ने वाले शुक्रवार को मनाया जाता है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, गुरु प्रभु यीशु को इसी दिन सूली पर चढ़ाया गया, ऐसे में इस दिन को शोक की भावना के साथ मनाया जाता है। इस पर्व को इसे ग्रेट फ्राइडे, होली फ्राइडे व ब्लैक फ्राइडे जैसे कई नामों से जाना जाता है।
गुड फ्राइडे से पहले कुछ दिनों तक लोग उपवास रखते हैं, जिसके दौरान वे कुछ नियमों का पालन करते हैं। इन नियमों में इस दौरान मांसाहार में सिर्फ मछली खाने का नियम भी शामिल है। उपवास के इन दिनों को लेंट कहा जाता है, जो 40 दिनों तक चलता है। इसमें लोग सुबह उपवास रखते हैं और शाम को उपवास तोड़ते हैं। लेंट में उपवास करते समय सिर्फ मछली ही क्यों खाई जाती है, इसके कई कारण हैं। आइए जानते हैं गुड फ्राइडे के दिन क्यों ईसाई धर्म के लोग मछली खाते हैं।
आखिर क्यों खाते हैं गुड फ्राइडे के दिन ईसाई धर्म के लोग मछली
आपको बता दें, गुड फ़्राइडे पर मछली खाने की विशेष परंपरा एवं रिवाज़ है, ईसाई धर्म के लोग उपवास के समय मांसाहार में सिर्फ़ मछली का सेवन करते है। दरअसल पहले के समय में मछली आसानी से मिल जाती थी और काफ़ी सस्ती होती थी इसीलिए इसे ख़ास खाने में शामिल नहीं किया जाता था, वहीं जो लोग मछली के अलावा अन्य मांस खरीदने में सक्षम नहीं होते थे, वे मछली खाते थे, इस कारण से गुड फ़्राइडे पर अन्य मांस खाना वर्जित है और मांसाहार में सिर्फ और सिर्फ मछली का सेवन किया जाता है।
बता दें, इसके अलावा इस दिन फल, सब्ज़ियां, अनाज, दूध आदि को उपवास तोड़ने के बाद खाते हैं, पूरे दिन उपवास रखने के बाद मांस खाना सेहत के लिए हानिकारक भी होता है। इसीलिए इस दिन लोग मछली खाते हैं।
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यह है एक और कारण
मछली खाने के पीछे कारण यह भी है कि ईसा मसीह के कई अनुयायी मछुआरे थे और जब ईसाई धर्म पर रोक लगा दी गई, तब अपने धर्म के लोगों की पहचान करने के लिए मछली का प्रयोग किया जाता था इसीलिए इस दिन मछली खाने को अहमियत दी जाती है।