कालाष्टमी व्रत की महिमा
Kalashtami 2024:भगवान शिव के रौद्र रूप काल भैरव देव को समर्पित कालाष्टमी का व्रत हर महीने के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को रखा जाता है। इस बार यह व्रत 22 नवंबर को मनाई जाएगी। इसी दिन मासिक कृष्ण जन्माष्टमी भी मनाई जाएगी।
धार्मिक मत है कि काल भैरव देव की पूजा-उपासना करने से साधक की सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। साथ ही सभी प्रकार के दुख और संकट हमेशा के लिए दूर हो जाते हैं। अतः, साधक भक्ति भाव से काल भैरव देव की पूजा-भक्ति करते हैं। अगर आप भी काल भैरव देव की कृपा पाना चाहते हैं, तो कालाष्टमी पर पूजा के समय इन मंत्रों का जप अवश्य करें।
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राशि अनुसार करें मंत्र जप-
मेष राशि के जातक काल भैरव जयंती पर पूजा के समय ‘ॐ ह्रीं भैरवाय नम:’ मंत्र का एक माला जप करें।
वृषभ राशि के जातक भगवान शिव की पूजा करने के समय ‘ॐ ह्रीं क्षत्रियाय नम:’ मंत्र का जप करें।
मिथुन राशि के जातक काल भैरव देव को प्रसन्न करने के लिए ‘ॐ ह्रीं सिद्धाय नम:’ मंत्र का जप करें।
कर्क राशि के जातक भगवान शिव की कृपा पाने के लिए ‘ॐ ह्रीं सिद्धिदाय नम:’ मंत्र का जप करें।
सिंह राशि के जातक मासिक कालाष्टमी के दिन पूजा के दौरान ‘ॐ ह्रीं कवये नम:’ मंत्र का जप करें।
कन्या राशि के जातक काल भैरव देव की कृपा पाने के लिए ‘ॐ ह्रीं त्रिनेत्राय नम:’ मंत्र का जप करें।
तुला राशि के जातक कालाष्टमी के दिन पूजन के समय ‘ॐ ह्रीं क्षेत्रज्ञाय नम:’ मंत्र का एक माला जप करें।
वृश्चिक राशि के जातक भगवान शिव की कृपा पाने के लिए ‘ॐ ह्रीं भूतपाय नम:’ मंत्र का एक माला जप करें।
धनु राशि के जातक मनोवांछित फल की प्राप्ति के लिए ‘ॐ ह्रीं धनदाय नम:’ मंत्र का एक माला जप करें।
मकर राशि के जातक संकट दूर करने के लिए ‘ॐ ह्रीं अनंताय नम:’ मंत्र का जप करें।
कुंभ राशि के जातक भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए ‘ॐ ह्रीं त्रिलोचननाय नम:’ मंत्र का जप करें।
मीन राशि के जातक कालाष्टमी के दिन शिवजी की पूजा के समय ‘ॐ ह्रीं शांताय नम:’ मंत्र का जप करें।