सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म कई लोग सवाल पूछते हैं और आम लोग ही उनके जवाब देते हैं। इस वजह से इस बात का दावा नहीं लगाया जा सकता कि वो जवाब पूरी तरह सही हैं।
आपने सामान खरीदते वक्त जरूर दुकानदार से पूछा होगा कि उसकी क्या गारंटी है या कई बार आपने उससे उस सामान की वारंटी भी पूछी ही होगी।
आपने सामान खरीदते वक्त जरूर दुकानदार से पूछा होगा कि उसकी क्या गारंटी है या कई बार आपने उससे उस सामान की वारंटी भी पूछी ही होगी। ये दो ऐसे शब्द हैं जो एक-दूसरे की जगह आसानी से उपयोग किए जाते हैं, पर इनमें बहुत बड़ा फर्क होता है।
बता दें कि ऐसे कम ही लोग होंगे जिन्हें इन दो शब्दों के बीच का अंतर मालूम होगा. क्या आपको भी नहीं पता, तो आपके लिए जान लेना बहुत जरूरी है क्योंकि ये दोनों शब्द सामानों को खरीदने के लिहाज से बहुत जरुरी हैं।
सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म कई लोग सवाल पूछते हैं और आम लोग ही उनके जवाब देते हैं। इस वजह से इस बात का दावा नहीं लगाया जा सकता कि वो जवाब पूरी तरह सही हैं।
बता दें कि हर बार ये जरूरी नहीं है कि सवाल से जुड़े विषय का जानकार ही उसका जवाब दे. हाल ही में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर कमेंट कर पूछा कि - “गारंटी और वारंटी में क्या अंतर होता है, और इसे कैसे समझें?”
इन दो शब्दों का उपयोग हम रोजमर्रा के जीवन में कई बार कर लेते हैं. तो आइए आपको बताते हैं कि लोगों ने इसका क्या जवाब दिया। दरअसल “गारंटी में वास्तु चेंज होती है और वारंटी में ठीक होती है।” और “गारंटी सामान को बदल कर दी जाने वाली सुविधा और वारंटी अर्थात उस सामान को फिर से ठीक करके वापस देने की सुविधा है।”
और कई बार “गैरेंटी और वॉरेंटी दो शब्द हैं जो हमेशा एक ही अर्थ में उपयोग किए जाते हैं, लेकिन वास्तव में उनके बीच कुछ महत्वपूर्ण अंतर हैं। गैरेंटी एक वादा है जो एक विक्रेता और निर्माता किसी खरीदार को देता है कि उत्पाद एक निश्चित अवधि के लिए निश्चित मानकों या प्रदर्शन को पूरा करेगा।
तो इसके साथ ही वॉरेंटी एक कानूनी वादा है जो एक विक्रेता या निर्माता किसी भी खरीदार को देता है कि उत्पाद एक निश्चित अवधि के लिए निश्चित मानकों या प्रदर्शन को पूरा करेगा।
लीगल सर्विसेज वेबसाइट के मुताबिक गारंटी का अर्थ है एक वादा, जो विक्रेता, ग्राहक से करता है कि कोई चीज तय मानकों के अनुरूप काम करेगी। अगर वो नहीं करती, तो उस सामान को बदलने का भरोसा दिलाया जाता है।
तो वहीं वारंटी में सामान को रिपेयर किया जाता है. गारंटी खासतौर पर मौखिक होती है, लिखित नहीं. दूसरी ओर वारंटी लिखित होती है। अगर सामान को लेकर कानूनी पेचीदगी पैदा हो जाए, तब इन दो शब्दों का बहुत काम होता है।