बीते दिन पाकिस्तान ने भारत पर अपने यहां मची तबाही का बदला लिया है। यहां पर भारत पर ड्रोन से हमले किए है जिसका सामना हमारा देश इन शक्तिशाली ड्रोन के जरिए कर रहा है।
भारत के पावरफुल ड्रोन सिस्टम (सौ.सोशल मीडिया)
Powerful Drones in India: भारत और पाकिस्तान के बीच ऑपरेशन सिंदूर के बाद जहां पर तनाव का माहौल बना हुआ है वहीं पर ऑपरेशन अभी भी जारी है। बीते दिन पाकिस्तान ने भारत पर अपने यहां मची तबाही का बदला लिया है। यहां पर भारत पर ड्रोन से हमले किए है जिसका सामना हमारा देश इन शक्तिशाली ड्रोन के जरिए कर रहा है चलिए जानते है इसके बारे में।
देश की सेना के बाद ड्रोन ह्यूमन लैस हवाई वाहन यानि (UAV) होते हैं. इन्हें क्षमता के अनुसार कई सौ किमी की दूरी तक वॉर करने में सक्षम होता है। ड्रोन की भूमिका में सेंसर और पेलोड से लैस होते हैं।कैमरे, रडार और हथियारों से लैस कर इसे सक्षम बनाते है।
निशांत ड्रोन- यह भारतीय सेना का सबसे खास ड्रोन है जिसे भारतीय अनुसंधान और विकास संगठन (डीआरडीओ) द्वारा विकसित किया गया है। भारतीय सेना का यह ड्रोन कैटापुल्ट तकनीक के लॉन्चिंग सिस्टम से उड़ाया जाता है. इसे पैराशूट की मदद से नीचे उतारा जाता है।
रुस्तम-2 ड्रोन -DRDO ने फरवरी 2018 में रुस्तम ड्रोन का सफल परीक्षण किया था. इसे टोही भूमिका के लिए तैयार किया गया है।रुस्तम-2 ड्रोन भारतीय सेना द्वारा इस्तेमाल किया जा रहा है. यह 24 घंटे निगरानी और खुफिया जानकारी इकट्ठा करने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। लक्ष्य को रॉकेट के जरिए प्रक्षेपित किया जाता है. यह भी पैराशूट के जरिए उतरता है।
हेरॉन ड्रोन- इस ड्रोन को इजराइल ने भारत को दिया है जिसका इस्तेमाल सर्जिकल स्ट्राइक तक में किया जा सकता है. भारत से पास हेरॉन मार्क-2 है। इस ड्रोन की बात करें तो, यह करीब 32 हजार फुट की ऊंचाई पर एक बार में लगातार 24 घंटे से अधिक समय तक उड़ान भर सकता है. इसकी अधिकतम सीमा करीब तीन हजार किमी है। वहीं पर अधिकतम 250 किलो तक वजन का पेलोड ले जा सकता है।
हार्पी ड्रोन- यह ड्रोन भी भारत को इजराइल से मिला है जिसके जरिए भारत ने पाकिस्तान के लाहौर में स्थित एयर डिफेंस सिस्टम को तबाह किया है। 500 से 1000 किमी तक की दूरी तय कर सकता है और 185 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से उड़ने में सक्षम है।इजराइल एयरोस्पेस इंडस्ट्रीज द्वारा विकसित किया गया यह ड्रोन हमले के बाद दुश्मन के हाथ नहीं आता।हार्पी एंटी रेडिएशन सीकर से लैस होता है, जिसकी मदद से रेडिएशन के स्रोतों जैसे रडार का आसानी से पता लगाया जा सकता है।