अभिजीत वंजारी और नितिन गडकरी (सौजन्य-सोशल मीडिया)
Nagpur News: स्नातक निर्वाचन क्षेत्र नागपुर सीट के वर्ष 2020 के चुनाव में कांग्रेस ने भाजपा के गढ़ में सेंध लगाने में सफलता पायी थी। भाजपा से वजनदार केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी इस सीट से जीतते रहे थे। उनके बाद अनिल सोले ने बीजेपी की यह सीट बरकरार रखी थी लेकिन बीते चुनाव में संदीप जोशी को कांग्रेस के अभिजीत वंजारी ने पराजित कर यह सीट छीन ली थी।
वंजारी ने चुनाव जीतने के लिए अपनी अलग ही रणनीति पर काम करना शुरू कर दिया था। उन्होंने संभाग के सभी जिलों में स्नातक मतदाताओं के अधिक से अधिक पंजीयन करवाये जैसा कि भाजपा किया करती थी। शायद बीते चुनाव को बीजेपी ने ओवर कॉन्फिडेंस में ले लिया था। उसे लगा था कि इस सीट में उसकी वजनदारी को कोई हल्का नहीं कर पाएगा। इसका खामियाजा उसे भुगतना पड़ा था। अब बीजेपी किसी भी सूरत में यह सीट वापस हासिल करना चाहती है।
वह वंजारी के चक्रव्यूह तो तोड़ने के लिए अधिक से अधिक मतदाता पंजीयन पर ध्यान दे रही है। हाल ही प्रदेशाध्यक्ष रवीन्द्र चव्हाण ने नागपुर में पूर्व विदर्भ के सभी विधायकों, पदाधिकारियों की बैठक लेकर स्नातक निर्वाचन क्षेत्र चुनाव को गंभीरता से लेने के निर्देश दिये हैं। यहां तक कि मनपा व जिला परिषद चुनाव लड़ने के इच्छुक कार्यकर्ताओं को स्पष्ट कहा गया है कि उन्हें कम से कम 1,000 मतदाताओं का पंजीयन करवाना होगा।
प्रदेश कांग्रेस कमेटी भी इस चुनाव के लिए काम पर लग गई है। नागपुर सीट के लिए उसने विधान परिषद के पक्षनेता बंटी उर्फ सतेज पाटिल को समन्वयक बनाया है। पाटिल को सभी जिलों के पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं से समन्वय बनाकर चुनाव तैयारी में लगने के निर्देश दिये हैं। वंजारी ने भी स्पष्ट कर दिया है कि बीजेपी इस सीट पर अब लौट नहीं पाएगी।
हालांकि इस संदर्भ में उन्होंने अपने पत्ते नहीं खोले हैं लेकिन कहा कि वे तैयारी में जुट गए हैं। शहर अध्यक्ष विकास ठाकरे ने भी बैठक में सभी पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं को अधिक से अधिक मतदाता पंजीयन करने की अपील की है।
बताते चलें कि बीते चुनाव में इस सीट पर कुल 2,06,454 ग्रेजुएट मतदाताओं का पंजीयन हुआ था जिन्हें वोट देने का अधिकार था। इनमें से सर्वाधिक लगभग 50 फीसदी वोटर्स अकेले नागपुर जिले के थे। नागपुर जिले में कुल मतदाता 1,02,809 थे। वहीं भंडारा जिले में वोटर्स की संख्या 18।434, गोंदिया में 16,934, वर्धा में 23,068, चंद्रपुर 32,761 और गड़चिरोली जिले में 12,448 थी। मतलब इस चुनाव का केन्द्रबिंदु नागपुर जिला कहें तो अतिशयोक्ति नहीं होगी।
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इस बार भी भाजपा के साथ कांग्रेस का मुख्य टारगेट नागपुर ही होगा इसमें कोई दो राय नहीं है। हालांकि दोनों ही पार्टियां इस बार शेष 5 जिलों में भी अधिक से अधिक मतदाता पंजीयन पर ध्यान केन्द्रित कर रही हैं। मतदाता पंजीयन 30 जुलाई से शुरू हो चुका है। चुनाव आयोग ने इसका कार्यक्रम घोषित कर दिया है। 30 दिसंबर को फाइनल मतदाता सूची जारी की जाएगी। यह कहना गलत नहीं होगा कि जिस पार्टी ने अपने अधिक मतदााओं के पंजीयन करवाए उसे सफलता मिल सकती है।