उद्धव और राज ठाकरे (सौजन्य-सोशल मीडिया)
Civic Polls Seat Sharing: शिवसेना (यूबीटी) प्रमुख उद्धव ठाकरे ने गुरुवार को मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे से मुंबई में मुलाकात की और ऐसा माना जा रहा है कि दोनों नेताओं ने आगामी नगर निकाय चुनावों के लिए सीट बंटवारे पर चर्चा की। उद्धव मध्य मुंबई के दादर स्थित राज के आवास ‘शिवतीर्थ’ पहुंचे। यह राजनीतिक रूप से अलग रहे चचेरे भाइयों के बीच हुई बैठकों की शृंखला में नवीनतम है।
उद्धव ठाकरे ने अपने चचेरे भाई व मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे के शिवतीर्थ निवास पर करीब डेढ़ घंटे तक मंथन किया। सूत्रों के मुताबिक दोनों नेताओं ने मुंबई की बीएमसी समेत 29 नगर निगमों के आगामी चुनावों के लिए सीट बंटवारे पर चर्चा की। हाल के महीनों में दोनों भाई पुराने विवाद को भूल एकजुट हो गए हैं।
हाल के दिनों में अपनी पार्टियों के बीच सुलह और संभावित गठबंधन के संकेत देते हुए दोनों भाई एक-दूसरे के प्रति गर्मजोशी दिखा रहे हैं। शिवसेना (यूबीटी) और मनसे ने अभी तक औपचारिक रूप से गठबंधन की घोषणा नहीं की है, लेकिन ठाकरे भाइयों ने स्थानीय निकाय चुनावों, विशेष रूप से महत्वपूर्ण बीएमसी तथा मुंबई महानगर क्षेत्र, पुणे और नाशिक के अन्य नगर निकायों के लिए आसन्न गठबंधन के पर्याप्त संकेत दिए हैं, जहां दोनों संगठनों का प्रभाव है।
शिवसेना (यूबीटी) के एक नेता ने कहा कि माना जा रहा है कि बैठक के दौरान उद्धव और राज ने नगर निकाय चुनावों के लिए अपनी पार्टियों के बीच संभावित सीट बंटवारे और मतदाता सूची में कथित अनियमितताओं पर चर्चा की। विपक्ष मतदाता सूची में कथित अनियमितता का मुद्दा जोर-शोर से उठा रहा है। उन्होंने कहा कि दोनों ने शिवसेना (यूबीटी) की सहयोगी कांग्रेस द्वारा मनसे के साथ गठबंधन करने के कथित विरोध पर भी चर्चा की।
शिवसेना (यूबीटी), कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शप) के साथ विपक्षी महा विकास आघाड़ी का घटक है। मनसे ने हालांकि कुछ मुद्दों, विशेषकर महाराष्ट्र में मतदाता सूची में कथित विसंगतियों को लेकर विपक्ष के साथ हाथ मिलाया है, लेकिन राज ठाकरे के नेतृत्व वाला यह संगठन अभी तक एमवीए का सदस्य नहीं है। इस सप्ताह की शुरुआत में उद्धव और राज ने राज्य निर्वाचन आयोग को एक पत्र सौंपकर मसौदा मतदाता सूची पर आपत्तियां और सुझाव प्रस्तुत करने के लिए और समय मांगा था।
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महाराष्ट्र में इस समय ग्रामीण और शहरी स्थानीय निकाय चुनाव चल रहे हैं। 246 नगर पालिका परिषदों और 42 नगर पंचायतों के चुनाव दो दिसंबर को होंगे और उसके बाद राज्य भर में 336 पंचायत समितियों, 32 जिला परिषदों और 29 नगर निगमों के चुनाव (अभी कार्यक्रम घोषित नहीं) होंगे। स्थानीय निकाय चुनाव की पूरी प्रक्रिया 31 जनवरी तक पूरी की जानी है।