सीएम देवेंद्र फडणवीस (pic credit; social media)
Maharashtra News: महाराष्ट्र में निजी क्षेत्र के कर्मचारियों को अब 9 की बजाय 10 घंटे ड्यूटी करनी पड़ सकती है। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में श्रम विभाग ने इस प्रस्ताव पर प्रस्तुति दी। हालांकि, मंत्रियों ने इस पर और स्पष्टता मांगी है।
मिली जानकारी के अनुसार, महाराष्ट्र सरकार “महाराष्ट्र दुकान और प्रतिष्ठान (रोजगार और सेवा की शर्तों का विनियमन) अधिनियम, 2017” में संशोधन की तैयारी कर रही है। इस संशोधन के तहत निजी संस्थानों जैसे दुकानों, होटलों और मनोरंजन स्थलों में कर्मचारियों के कार्य घंटों को नियंत्रित करने वाले प्रावधान बदले जा सकते हैं।
श्रम अधिनियम की धारा 12 में संशोधन का प्रस्ताव है कि किसी भी वयस्क कर्मचारी से एक दिन में 10 घंटे से अधिक काम नहीं लिया जा सकेगा। इसके साथ ही यह प्रावधान भी जोड़ा गया है कि कोई भी कर्मचारी लगातार 6 घंटे से ज्यादा काम तभी कर सकेगा, जब उसे आधे घंटे का ब्रेक मिलेगा। फिलहाल कानून में यह सीमा 5 घंटे तय है।
प्रस्ताव में ओवरटाइम की अवधि को भी बढ़ाने की बात है। वर्तमान में कर्मचारियों को तीन महीनों में अधिकतम 125 घंटे ओवरटाइम की अनुमति है। अब इसे बढ़ाकर 144 घंटे करने का सुझाव दिया गया है। साथ ही, मौजूदा प्रावधान के तहत किसी कर्मचारी का कार्य समय ओवरटाइम सहित अधिकतम 10.5 घंटे होता है। संशोधन के बाद यह सीमा 12 घंटे तक हो सकती है।
खास बात यह है कि अगर किसी जरूरी काम की स्थिति बनती है, तो प्रतिदिन 12 घंटे की अधिकतम सीमा को भी हटाने का प्रस्ताव है। यानी ऐसी परिस्थितियों में कर्मचारी से कितने भी घंटे काम कराया जा सकता है।
राज्य के श्रम विभाग ने इस पर विचार के लिए मंत्रिमंडल से अनुमति मांगी है। अब देखना यह होगा कि प्रस्ताव पर कैबिनेट की अंतिम मुहर कब लगती है और यह बदलाव कब से लागू होते हैं।