प्रकाश आंबेडकर (सौजन्य-सोशल मीडिया)
मुंबई: वंचित बहुजन आघाडी के नेता प्रकाश आंबेडकर ने केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर पाकिस्तान का पानी बंद करने के नाम पर देश की जनता को मूर्ख बनाने का गंभीर आरोप लगाया है। आंबेडकर ने कहा कि कश्मीर के पहलगाम में आतंकवादी हमले में हिंदू पर्यटकों की नृशंस हत्या के बाद पाकिस्तान को सिंधु नदी का पानी रोकने की भारत की घोषणा भारतीय लोगों को गुमराह करने वाली है।
भारतीय सचिव द्वारा पाकिस्तान को लिखे गए पत्र का हवाला देते हुए प्रकाश आंबेडकर ने कहा कि पाकिस्तान को पानी की आपूर्ति रोकने के लिए पत्र भेजा गया है। लेकिन पत्र में कहीं भी पानी बंद किए जाने का जिक्र नहीं है। पत्र में कहीं भी यह उल्लेख नहीं है कि हम बांध से पानी नहीं छोड़ेंगे, इसका अर्थ यह है कि भारत सरकार ने सिंधु संधि को रद्द नहीं किया है। अर्थात यह पौराणिक महाभारत युद्ध में अश्वत्थामा के वध “अश्वत्थामा हतो, नरो वा कुंजरो वा” जैसा ही मामला है।
प्रकाश आंबेडकर ने कहा कानून की भाषा में यह ‘स्टेट्स को’ कहते हैं। इसलिए यदि यह पत्र जनता को दिखाया जाए तो पता चल जाएगा कि सरकार किस तरह की कार्रवाई कर रही है। यह एक गंभीर मुद्दा है और सरकार को इस ओर आंखें मूंदनी नहीं चाहिए। इस सब में एकमात्र काम यह किया जा सकता है कि पाकिस्तानी नागरिकों का वीजा रद्द कर दिया जाए और उन्हें निर्वासित कर दिया जाए।
प्रकाश आंबेडकर ने कहा कि किसी भी अनुबंध को तुरंत रद्द नहीं किया जा सकता, उसकी कीमत चुकानी पड़ती है। लेकिन अनुवर्ती कार्रवाई करें। उन्होंने आगे कहा कि जो जानकारी सामने आई है उसके अनुसार बांध से गाद हटाने और पानी रोकने में दस साल लगेंगे। पाकिस्तानी भी जानते हैं कि भारत पानी नहीं रोक सकता। क्योंकि पानी रोकने के लिए कोई व्यवस्था नहीं की गई है। इसलिए पाकिस्तानी नेता आपको उकसा रहे हैं। ऐसा कहते हुए आंबेडकर ने पूछा कि क्या बरसात से पहले इसकी व्यवस्था की जा सकती है?
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आंबेडकर ने कहा कि हमले से पहले पाकिस्तानी सेना प्रमुख द्वारा दिया गया भाषण महत्वपूर्ण है। इसमें उन्होंने द्विराष्ट्र सिद्धांत प्रस्तुत किया। हमारे खुफिया विभाग ने भी यह जानकारी सरकार को दी, लेकिन उस समय सरकार चुप रही। कोई निर्देश नहीं दिया गया। आज हमारी सेना पूरी तरह तैयार है। लेकिन राजनीतिक नेतृत्व में ऐसी इच्छा नहीं दिखती। इच्छाशक्ति निर्माण करने के लिए हम 2 मई को शहीद स्मारक के सामने विरोध प्रदर्शन करेंगे।