गैंगस्टर से राजनेता बने अरुण गवली 70 साल के हैं जिनको डैडी भी कहा जाता है। सुप्रीम कोर्ट ने साल 2007 में उन्हें हत्या के मामले में जेल की सजा सुनाई थी। 17 साल बाद उन्हें 13 सितंबर को नागपुर जेल से रिहा किया गया। इस दौरान वह अपने आवास दगडी चॉल पहुंचे जहां उनके परिवार और समर्थक ने उनका भव्य स्वागत किया।
अरुण गवली के घर पहुंचते ही उन पर समर्थकों ने फूलों की बारिश की, गुलाल उड़ाया और मिठाइयां बांटी गई। जेल से छूटने के बाद किसी भी शख्स का ऐसा स्वागत सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बन गया है। ऐसे में अरुण गोविल के बारे में लोगों के जानने की इच्छा बढ़ गई है।
अंडरवर्ल्ड डॉन अरुण गवली को डैडी के नाम से भी जाना जाता है। वह मुंबई के कुख्यात डॉन रहा है जो बाद में राजनीति में सक्रिय हो गए। वह महाराष्ट्र के साधारण मिल वर्कर के परिवार से ताल्लुक रखते हैं। 1970 से 80 के दशक में मुंबई के गैंगवार में उनकी भूमिका ने उन्हें कुख्यात बना दिया।
राजनीति में प्रवेश के बाद गवली ने अखिल भारतीय सेना (ABS) की स्थापना की और विधायक बने। 3 सितंबर 2025 को सुप्रीम कोर्ट ने 2007 में उन्हें हत्या के मामले में जमानत दी जिसके बाद वह 17 साल बाद नागपुर सेंट्रल जेल से रिहा होकर मुंबई के दगड़ी चॉल लौटे।
अरुण गवली की संपत्ति के बारे में बात करें तो उनके परिवार की संपत्ति 250 करोड़ से अधिक मानी जाती है। दगड़ी चॉल सहित 11 इमारतें और पुणे के पास 40 एकड़ जमीन आदि संपत्ति है। अरुण गवली की पत्नी का नाम आशा गवली है जिन्होंने शादी के बाद हिंदू धर्म अपना लिया था। परिवार में उन्हें मम्मी के नाम से बुलाया जाता है। गवली के पांच बच्चे भी हैं।