बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार के विराेध में निकाली गई आक्रोश रैली
चंद्रपुर: बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय पर हो रहे अत्याचार को देखते हुए शुक्रवार को यहां सकल हिंदू समुदाय की ओर से ‘आक्रोश मोर्चा’ निकाला गया। इस दौरान शहर की सभी दुकानें, स्कूल, काॅलेज, पेट्रोल पम्प बंद रखकर अत्याचार की घटना का कड़ा विरोध किया गया। यहां के समस्त हिंदू समाज की ओर से बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार पर विरोध प्रदर्शन का सामूहिक निर्णय 2 दिन पहले लिया गया था।
योजना के मुताबिक शुक्रवार सुबह 10.30 बजे शिवाजी चौक पर समस्त हिंदू समाज के एकत्र होने के बाद विरोध मोर्चा गांधी चौक-जटपुरा गेट होते हुए जिलाधीश कार्यालय पहुंचा। यह मोर्चा 3 घंटे तक चला। मोर्चा में बांग्लादेश एवं पाकिस्तान के खिलाफ नारेबाजी की गई।
यह भी पढ़ें:- महाराष्ट्र सरकार का ऑफर: फोटो और रील भेजो, इनाम पाओ, जानिए क्या है शर्तें
इस विशाल विरोध मोर्चा का नेतृत्व शैलेश बागला, रोडमल गेहलोत, राम किशोर सारडा, मिलिंद कोतपल्लीवार, गुणवंत चंदनखेड़े, दामोदर मंत्री, अजय जयसवाल, रणजीत सिंह सलूजा, ज्ञानचंद टहलियानी, यशवन्त कलमवार, मधुसूदन रूंगठा, अशोक हासानी रितेश वर्मा, प्रो। जुगलकिशोर सोमानी, विनोद कुमार तिवारी, डॉ। शैलेन्द्र शुक्ला एवं पंकज शर्मा ने किया। जिलाधीश को ज्ञापन देकर विरोध मोर्चा का समापन किया गया।
बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार के विरोध में पालकमंत्री सुधीर मुनगंटीवार और स्थानीय विधायक किशोर जोरगेवार भी ‘आक्रोश मोर्चा’ में शामिल हुए। इस मौके पर पत्रकारों से बात करते हुए मुनगंटीवार ने कहा कि बांग्लादेश की जनता सत्ता के विरोध में खड़ी है। प्रधानमंत्री शेख हसीना को भारत के सामने आत्मसमर्पण करना पड़ा। इस बीच, बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार शुरू हो गए हैं और उन्हें सरकारी नौकरियां छोड़ने के लिए मजबूर किया जा रहा है, जो बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
यह भी पढ़ें:- चंद्रशेखर बावनकुले ने दिखाए सख्त तेवर, बोले- नेता चुनाव लड़ने पर अड़े रहे तो भाजपा छोड़ने से नहीं रोक सकते
हिंदू धर्म की रक्षा के लिए निकाले गए इस आक्रोश मार्च में मातृशक्ति और युवा बड़ी संख्या में शामिल हुए। युवाओं ने भगवा झंडा लहराया और मातृशक्ति ने निषेध फलक हाथ लेकर बांग्लादेश के विरोध में नारे लगाए।