MP के सागर जिले में किसी अज्ञात ने बुजुर्ग को झील में धक्का मार दिया (फोटो- सोशल मीडिया)
Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश के सागर जिले में मानवता को शर्मसार करने वाली एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। यहां की प्रसिद्ध लाखा बंजारा झील पर बने एलिवेटेड कॉरिडोर से एक बुजुर्ग को किसी अज्ञात व्यक्ति ने निर्दयता से नीचे पानी में धक्का दे दिया। कड़ाके की ठंड और गहरे पानी के बीच बुजुर्ग ने हिम्मत नहीं हारी और पूरी रात एक पिलर के सहारे मौत से जंग लड़ते रहे। कंपकंपाती ठंड में घंटों पानी में बिताने के बाद सुबह जब उनकी जान बची, तो हर कोई इसे चमत्कार मान रहा है।
सदर क्षेत्र के रहने वाले 62 वर्षीय हरप्रसाद रैकवार ने बताया कि वह रात करीब साढ़े 11 बजे बस स्टैंड के पास कॉरिडोर पर खड़े होकर झील का नजारा देख रहे थे। तभी पीछे से आए किसी अज्ञात शख्स ने उन्हें जोरदार धक्का दे दिया और वह सीधे ठंडे पानी में जा गिरे। रात का गहरा सन्नाटा होने के कारण उनकी मदद की पुकार किसी ने नहीं सुनी। मजबूरी में उन्होंने पुल के पिलर को कसकर पकड़ लिया और पूरी रात उसी सहारे पानी में खड़े रहे। बुधवार सुबह सिक्योरिटी गार्ड्स के सुपरवाइजर विक्की की नजर उन पर पड़ी, जिसके बाद उन्हें बोट की मदद से बाहर निकाला गया।
घटना की जानकारी मिलते ही कोतवाली थाना प्रभारी मनीष सिंघल अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे। बुजुर्ग को सुरक्षित बाहर निकालने के बाद तुरंत जिला अस्पताल भेजा गया, जहां उनका मेडिकल चेकअप कराया गया और बाद में उन्हें घर भेज दिया गया। पुलिस अब हर पहलू से मामले की बारीकी से जांच कर रही है। पुलिस यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि बुजुर्ग को जानबूझकर किसी रंजिश के तहत धक्का दिया गया था या यह महज एक हादसा था। धक्का देने वाले अज्ञात व्यक्ति की पहचान के लिए पुलिस सक्रिय हो गई है।
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एलिवेटेड कॉरिडोर पर आए दिन हो रही दुर्घटनाओं और झील में कूदने की घटनाओं को देखते हुए प्रशासन अब हरकत में आया है। नगर निगम ने कॉरिडोर की बाउंड्री पर 5 फीट ऊंची जाली लगाने का प्रस्ताव पास कर काम शुरू करवा दिया है। इसका उद्देश्य झील में गिरने या कूदने जैसी घटनाओं को रोकना है। विडंबना यह है कि इस सुरक्षा कवच के पूरी तरह तैयार होने से पहले ही बुजुर्ग के साथ यह दर्दनाक हादसा हो गया। फिलहाल प्रशासन का दावा है कि जल्द ही पूरे कॉरिडोर को सुरक्षित कर लिया जाएगा ताकि दोबारा किसी की जान जोखिम में न पड़े।