-सीमा कुमारी
आजकल अधिकतर पेरेंट्स अपने बच्चों की पढ़ाई को लेकर परेशान रहते है। क्योंकि, उनको लगता है कि वह पढ़ाई नहीं करते। ऐसा माना जाता है कि, घर में सबसे ज्यादा सकारात्मक उर्जा का केंद्र बच्चों का कमरा होता है।
लेकिन, वे यह भूल जाते हैं कि कई अन्य कारणों से बच्चों का मन पढ़ाई में नहीं लगता। जिसमें से एक मुख्य कारण है, उनके कमरे का गलत वास्तु कई बार वे तनाव में रहते हैं, मेहनत के बावजूद उन्हें सफलता नहीं मिलती। ऐसे में वास्तु के कुछ उपाय को अपनाकर बच्चों के करियर को उज्जवल बना सकते है। आइए जानें उन उपायों को।
वास्तु के अनुसार, बच्चों के स्टडी रूम में हमेशा हल्के रंग का कलर करवाना चाहिए। हल्का पीला, हल्का गुलाबी या हल्का हरा रंग उन्हें लक्ष्य की ओर केंद्रित रखता है और दिमाग को तेज करता है। गाढ़ा रंग बच्चों को व्याकुल करता और ध्यान भटकाता है।
माना जाता है कि बच्चों के कमरे में मोमबत्ती जलाने से उनका ध्यान पढ़ाई की ओर आकर्षित होता है। मोमबत्ती को कमरे के पूर्वी, उत्तर-पूर्वी या दक्षिणी भाग में रखें इससे उनकी बौद्धिक क्षमता बढ़ती है।
वास्तु-शास्त्र के अनुसार, बच्चों के रूम में ग्लोब रखना शुभ माना जाता है। कमरे में ग्लोब को उत्तर पूर्व दिशा में रखने से बच्चों का ध्यान पढ़ाई में लगता है और उन्हें अच्छे अंक हासिल करने में भी मदद मिलती है। अगर आप भी अपने बच्चों का ध्यान पढ़ाई में केंद्रित करना चाहते है तो बच्चों के रूम में ग्लोब रखना न भूलें।
बच्चों के कमरे में सबसे महत्वपूर्ण चीज होती है उनकी स्टडी टेबल. उनकी स्मरण शक्ति और एकाग्रता को बढ़ाने के लिए टेबल को पूर्व या उत्तर की ओर रखें। यदि संभव हो तो स्टडी टेबल वर्ग (square) या आयत (rectangle) आकार की खरीदें। मेज का रंग भी बच्चों की एकाग्रता पर असर डालता है इसलिए हल्के रंग की ही टेबल खरीदें ।