मुंबई: मराठा आंदोलनकारी मनोज जरांगे (Manoj Jarange) पिछले 14 दिनों से जालना के एक गांव में भूख हड़ताल पर बैठे हैं। इस बीच खबर मिली है कि, मनोज जरांगे की तबियत बिगड़ गई है। वहीं, उन्होंने उपचार लेने से भी इनकार कर दिया है। उन्होंने आज मीडिया से बात करते हुए बताया कि वह दोपहर तक आंदोलन को लेकर आगे की रणनीति का खुलासा करेंगे।
बता दें कि मराठा आरक्षण (Maratha Reservation) मुद्दे पर भूख हड़ताल पर बैठे मनोज जरांगे पाटिल से मिलने के लिए एक सरकारी प्रतिनिधिमंडल पहुंचा है। इस दौरान जरांगे से मिलने शिव प्रतिष्ठान के संभाजी भिड़े गुरूजी पहुंचे हैं। इस समय प्रतिनिधिमंडल से चर्चा और रात की बैठक का प्रस्ताव देखने के बाद जरांगे दोपहर 2 बजे अपनी स्थिति स्पष्ट करेंगे।
मनोज जरांगे कल रात से हालत बिगड़ गई है। उन्हें सलाइन चढ़ाया गया है। इसके बाद आज सरकारी प्रतिनिधिमंडल जरांगे से मिलने पहुंचा है। इस समय अपने स्वास्थ्य का ध्यान रखें। इस समय अनशन वापस लेने का अनुरोध किया गया। संभाजी भिड़े ने संदीपन भुमरे और अर्जुन खोतकर के साथ मिलकर मनोज जरांगे को मनाने की कोशिश की। लेकिन मनोज जरांगे अब भी अपनी स्थिति पर कायम हैं। उन्होंने कहा, ‘मैं जल्द ही मीडिया से बात करूंगा। फिर मैं अपनी भूमिका समझाता हूं।’
संभाजी भिड़े ने कहा, अपनी लड़ाई जारी रखें। लेकिन अनशन वापस ले लो। हम लड़ते रहेंगे। बिना आरक्षण के शांत नहीं बैठना नहीं। लेकिन फिलहाल अनशन वापस ले लीजिए। संभाजी भिड़े ने कहा कि हम अगली लड़ाई लड़ते रहेंगे। लेकिन ऐसा नहीं लगता कि उनकी कोशिशें अभी तक सफल हो पाई हैं। मनोज जरांगे ने अभी तक अपना विरोध वापस नहीं लिया है।