वीके शशिकला एक बार फिर से गंभीर आरोपों के घेरे में (फोटो- सोशल मीडिया)
VK Sasikala CBI Case New: तमिलनाडु की दिवंगत मुख्यमंत्री जे. जयललिता की सबसे करीबी रहीं वीके शशिकला एक बार फिर से गंभीर आरोपों के घेरे में हैं। केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) द्वारा दर्ज की गई एक प्राथमिकी में यह खुलासा हुआ है कि शशिकला ने 2016 में हुई नोटबंदी के दौरान एक चीनी कारखाना खरीदने के लिए 450 करोड़ रुपये की भारी-भरकम रकम का भुगतान प्रतिबंधित हो चुके पुराने नोटों में किया था। यह मामला अब तूल पकड़ता जा रहा है, क्योंकि इसके तार बैंक धोखाधड़ी और बेनामी संपत्ति से भी जुड़ रहे हैं।
यह पूरा मामला मद्रास हाई कोर्ट के एक निर्देश के बाद सामने आया, जिसके तहत CBI ने पद्मादेवी शुगर्स लिमिटेड (PSL) के खिलाफ केस दर्ज किया था। कंपनी पर इंडियन ओवरसीज बैंक (IOB) को 120 करोड़ रुपये का चूना लगाने का आरोप है। बैंक ने इस कंपनी के खाते को साल 2020 में ही धोखाधड़ी में इस्तेमाल होने वाला खाता घोषित कर दिया था। सीबीआई की प्राथमिकी में शशिकला का नाम सीधे तौर पर आरोपी के रूप में दर्ज नहीं है, लेकिन जांच की सुई उन्हीं की तरफ घूम रही है, जिससे उनकी मुश्किलें बढ़ सकती हैं।
CBI की FIR के हिसाब से पद्मादेवी शुगर्स लिमिटेड की जिस चीनी मिल का यह सौदा हुआ, वह पहले से ही बैंक के पास गिरवी रखी हुई थी। बाद में इस मिल को आयकर विभाग ने बेनामी संपत्ति लेनदेन अधिनियम के तहत जब्त कर लिया था। इस पूरे खेल का पर्दाफाश तब हुआ जब 2017 में शशिकला के खिलाफ एक अन्य मामले की जांच के दौरान आयकर विभाग ने तलाशी ली। इस तलाशी में जांच अधिकारियों के हाथ कुछ ऐसे दस्तावेज लगे, जिन्होंने इस पूरी बड़ी साजिश की परतों को खोलकर रख दिया। इन्हीं दस्तावेजों से 450 करोड़ के नकद लेन-देन का पता चला।
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इंडियन ओवरसीज बैंक ने CBI को जो शिकायत दी है, उसमें इस लेन-देन की पूरी जानकारी है। बैंक की शिकायत के मुताबिक, पटेल समूह की इस चीनी मिल को खरीदने के लिए 450 करोड़ रुपये का भुगतान नोटबंदी के दौरान किया गया था। इस मामले में सबसे अहम सबूत एक शपथ पत्र है, जो पीएसएल के वित्तीय मामलों को संभालने वाले हितेश शिवगण पटेल ने दिया था। पटेल ने अपने शपथ पत्र में यह बात कबूल की थी कि उन्हें कांचीपुरम स्थित चीनी कारखाने की बिक्री के बदले पुराने नोटों में कुल 450 करोड़ रुपये मिले थे। यह लेन-देन जयललिता के निधन के कुछ ही समय बाद हुआ था।