आसियान इंडिया शिखर सम्मेलन (सौजन्य : सोशल मीडिया)
विएंतियान : भारत जल्द ही आसियान देशों को एक बेहतरीन तोहफा देने वाला है। गुरूवार को एक ज्वाइंट स्टेटमेंट में ये बात कही गई है कि भारत में आधार और यूपीआई की सफलता देखते हुए फैसला लिया गया है कि जल्द ही इन जैसे डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्क्रचर के उपयोग से जुड़े अपने एक्सपीरियंस और नॉलेज को आसियान देशों के साथ शेयर करने वाला है।
इसके अलावा एजुकेशन, हेल्थ सर्विस, कृषि और क्लाइमेंट चेंज में विविध चुनौतियों का समाधान करने के लिए सहयोग की संभावना भी तलाशी जाएगी। विएंतियान में आयोजित 21वें भारत-आसियान शिखर सम्मेलन के बाद जारी संयुक्त वक्तव्य में दोनों पक्षों ने कहा कि वे इनोवेटरी डिजिटल सोल्यूशन के जरिये आसियान और भारत में पेमेंट सिस्टम के बीच सीमापार संबंधों के सहयोग की संभावना तलाशेंगे।
दोनों पक्षों ने क्षेत्र में शांति, स्थिरता और समृद्धि के लिए आसियान-भारत व्यापक रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने पर एक संयुक्त बयान भी जारी किया। बयान में क्षेत्र में शांति, स्थिरता, समुद्री सुरक्षा एवं संरक्षा, समुद्री परिवहन और उड़ान की स्वतंत्रता तथा समुद्र के अन्य वैध उपयोगों को बनाए रखने और बढ़ावा देने के महत्व की पुष्टि की गई। इसमें निर्बाध वैध समुद्री वाणिज्य और विवादों के शांतिपूर्ण समाधान को बढ़ावा देना शामिल है।
इस शिखर सम्मेलन को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी संबोधित किया। मोदी ने अपने समापन भाषण में कहा, ‘‘डिजिटल ट्रांसफॉर्मेंशन और हमारी व्यापक रणनीतिक साझेदारी को मजबूत करने के लिए हमने जो दो ज्वाइंट स्टेटमेंट हैं, वे भविष्य में हमारे सहयोग के लिए बुनियाद तैयार करेंगे।”
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इस शिखर सम्मेलन में आसियान के 10 सदस्य देशों के नेताओं ने भाग लिया। यह सम्मेलन ऐसे समय में हो रहा है जब क्षेत्र दक्षिण चीन सागर में समुद्री मुद्दों और म्यांमा में संकट को लेकर फिलिपीन और चीन के बीच तनाव देख रहा है। भारत और आसियान देशों ने फिनटेक इनोवेशन के लिए राष्ट्रीय एजेंसियों के बीच पार्टनरशिप की संभावना तलाशने और डिजिटल फाइनेंशियल सोल्यूशन सहित डिजिटल सोल्यूशन का समर्थन करने पर भी सहमति जताई।
भारत के डिजिटल पब्लिक इंफ्रास्क्रचर में पहचान यानी आधार, भुगतान यानी यूपीआई और डेटा मैनेजमेंट यानी डिजिलॉकर की तिकड़ी शामिल है। हेल्थ सर्विस सेक्टर की पहल में आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन और टेली-मेडिसिन के लिए ई-संजीवनी शामिल हैं। दोनों पक्षों ने कहा कि वे डिजिटल इकोनॉमी का समर्थन करने के लिए साइबर सिक्योरिटी सहयोग का विस्तार करने के पक्ष में हैं। संयुक्त बयान में कहा गया, ‘‘जैसे-जैसे हम धीरे-धीरे बढ़ती डिजिटल इकोनॉमी की ओर बढ़ रहे हैं, हम डिजिटल इंफ्रास्क्रचर और सर्विस की सुरक्षा और लचीलापन सुनिश्चित करने का प्रयास करेंगे।” दोनों पक्षों ने आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस यानी एआई प्रगति की क्षमता का दोहन करने के लिए एआई टेक्नोलॉजी और अनुप्रयोगों का प्रभावी और जिम्मेदारी से लाभ उठाने के लिए आवश्यक ज्ञान, कौशल, बुनियादी ढांचे, रिस्क मैनेजमेंट ढांचे और नीतियों के विकास में सहयोग का समर्थन करने पर भी सहमति व्यक्त की। आसियान के सदस्यों में इंडोनेशिया, मलेशिया, फिलिपीन, सिंगापुर, थाइलैंड, ब्रुनेई, वियतनाम, लाओस, म्यांमा और कंबोडिया शामिल हैं।
(एजेंसी इनपुट के साथ)