पुतिन-जिनपिंग का अरमान (सौ. डिजाइन फोटो)
नवभारत डिजिटल डेस्क: पड़ोसी ने हमसे कहा, ‘निशानेबाज, जिंदगी लंबी नहीं, बल्कि सार्थक या मीनिंगफुल होनी चाहिए।अपने लिए जिए तो क्या जिए, तू जी ऐ दिल जमाने के लिए! जिंदगी को लेकर अनेक फिल्मी गाने हैं जैसे कि- जिंदगी देनेवाले सुन, तेरी दुनिया से दिल भर गया, मैं यहां जीते जी मर गया! जिंदगी क्या है, गम का दरिया है! मेरी जिंदगी में आए हो तुम बहार बनके, यूं ही साथ-साथ रहना तुम यार प्यार बन के! मैं जिंदगी में हरदम रोता ही रहा हूं, तड़पता ही रहा हूं!’
हमने कहा, ‘लगता है आप रूस के राष्ट्रपति पुतिन और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग की चर्चा से प्रभावित हुए हैं जो अपनी जिंदगी को लंबा खींचने और 150 वर्ष की आयु तक जिंदा रहने की संभावना पर बात कर रहे थे।एक माइक ने उनकी इस चर्चा को पकड़ लिया।पुतिन के कथन को उनका ट्रांसलेटर चीनी भाषा में अनुवाद करते हुए बोल रहा था- बायोटेक्नोलॉजी लगातार डेवलप हो रही है।मानव अंगों का प्रत्यारोपण लगातार किया जा सकता है।आप जितने लंबे समय तक जीवित रहेंगे, आप उतने ही युवा होते जाएंगे।अमरता भी हासिल कर सकते हैं.’
पड़ोसी ने कहा, ‘निशानेबाज, अमर होने की लालसा को लेकर हिरण्यकश्यप और रावण ने ब्रम्हा से वरदान मांगा था लेकिन फिर भी भगवान विष्णु ने नृसिंह और राम का अवतार लेकर उनके प्राण हर लिए।भस्मासुर अमरता का वरदान पाकर शंकरजी के पीछे दौड़ा था तब विष्णु ने मोहिनी का रूप लेकर उसे अपने साथ नचाया।जैसे ही उसने अपने सिर पर हाथ रखा तुरंत भस्म हो गया।इसलिए मौत कभी न कभी आती ही है.’ हमने कहा, ‘योग और प्राणायाम से उम्र बढ़ाई जा सकती है।पुतिन और जिनपिंग को बाबा रामदेव के पास आकर योग सीखना चाहिए।कपालभाती और पंचकर्म से उन्हें लाभ हो सकता है।हिमालय जाकर संजीवनी बूटी भी खोज सकते हैं.’
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पड़ोसी ने कहा, ‘निशानेबाज पुतिन और जिनपिंग दोनों 72 साल के हैं।उन्हें अभी से फिक्र करने की जरूरत नहीं है।अपने देश में मोरारजी देसाई 99 वर्ष तक जीवित रहे।सी।राजगोपालाचारी, डा।राधाकृष्णन व राम जेठमलानी ने 90 साल से ज्यादा की उम्र पाई।लालकृष्ण आडवाणी 96 वर्ष के हैं।जब तक ऊपरवाले का वारंट नहीं आता, व्यक्ति जिंदा रहता है।जब तक जीना है, खुशमिजाजी के साथ लाइफ को एंजाय करते हुए जियो और अंबानी का ‘जिओ’ इस्तेमाल करते रहो.
लेख- चंद्रमोहन द्विवेदी के द्वारा