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-सीमा कुमारी
चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को ‘कामदा एकादशी’ (Kamada Ekadashi) का व्रत रखा जाता है। इस साल ‘कामदा एकादशी’का पावन व्रत 12 अप्रैल, मंगलवार के दिन है। इस दिन जगत के पालनहार भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना करते हैं और ‘कामदा एकादशी’ व्रत कथा का पाठ भी करते हैं।
ज्योतिष-शास्त्र के मुताबिक, ‘कामदा एकादशी’ का व्रत रखने से सभी प्रकार की कामनाओं की पूर्ति होती है, यदि आप किसी पाप का प्रायश्चित्त करना चाहते हैं, तो ‘कामदा एकादशी’ व्रत अवश्य रखें।
यह एकादशी व्रत पापों से मुक्ति के लिए बेहद महत्वपूर्ण मानी जाती है। आइए जानें ‘कामदा एकादशी’व्रत की तिथि, पूजा मुहूर्त एवं पारण समय के बारे में-
पंचांग के अनुसार, चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि 12 अप्रैल दिन मंगलवार को प्रात: 04 बजकर 30 मिनट पर शुरु होगी। यह तिथि 13 अप्रैल को प्रात: 05 बजकर 02 मिनट तक रहेगी। ऐसे में उदयातिथि के अनुसार, 12 अप्रैल को ‘कामदा एकादशी’ व्रत रखा जाएगा।
‘कामदा एकादशी’ के दिन सर्वार्थ सिद्धि योग प्रात: 05 बजकर 59 मिनट से सुबह 08 बजकर 35 मिनट तक है, इसी अवधि में रवि योग भी है। ‘कामदा एकादशी’ के दिन भगवान विष्णु की पूजा आप सर्वार्थ सिद्धि योग में करें, यह बहुत ही फलदायी है।
सर्वार्थ सिद्धि योग में किए गए कार्य सफल होते है। ‘कामदा एकादशी’ के दिन का शुभ मुहूर्त दिन में 11 बजकर 57 मिनट से दोपहर 12 बजकर 48 मिनट तक है।
12 अप्रैल को कामदा एकादशी व्रत रखने वाले लोग 13 अप्रैल को व्रत का पारण करेंगे। उस दिन ‘कामदा एकादशी’व्रत के पारण का समय दोपहर 01 बजकर 39 मिनट से शाम 04 बजकर 12 मिनट तक है।
पुराणों के अनुसार, जो भक्त कामदा एकादशी व्रत रखता है तथा भगवान विष्णु की पूजा करता है उसके सारे पाप मिट जाते हैं। जाने-अनजाने में किए गए कामों की क्षमा मांगने वाले भक्तों को भगवान विष्णु माफ कर देते हैं तथा आशीर्वाद देते हैं। कामदा एकादशी व्रत कल्याणकारी है, यह व्रत रखने वाले भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं।