मोहम्मद जमा खान, फोटो- सोशल मीडिया
Bihar Assembly Election 2025: मोहम्मद जमा खान चैनपुर विधानसभा क्षेत्र से वर्तमान विधायक हैं और बिहार सरकार में अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री के रूप में कार्यरत हैं। 2020 में उन्होंने बहुजन समाज पार्टी (BSP) के टिकट पर जीत दर्ज की थी और बाद में जनता दल यूनाइटेड (JDU) में शामिल हो गए।
जमा खान का राजनीतिक सफर आसान नहीं रहा। मो. जमां खां के राजनीतिक सफर की शुरुआत पढ़ाई के दौरान हुई। उन्होंने इंटर की पढ़ाई वाराणसी में पूरी की, जहां से छात्र राजनीति की शुरुआत हुई। इसके बाद पहली बार 2005 में जिला परिषद पद पर उन्होंने चुनाव में भाग्य आजमाया, जहां पर उन्हें हार का मुंह देखना पड़ा।
उन्होंने 2005 में BSP से पहली बार चुनाव लड़ा लेकिन हार का सामना करना पड़ा। 2010 में कांग्रेस से चुनाव लड़े और फिर असफल रहे। 2015 में BSP से चुनाव लड़ा और मात्र 600 वोटों से हार गए। लेकिन 2020 में उन्होंने शानदार वापसी करते हुए भाजपा के बृज किशोर बिंद को 25,000 से अधिक वोटों से हराया।
2025 के विधानसभा चुनाव में जमा खान JDU के प्रत्याशी के रूप में मैदान में हैं। वहीं उनके पुराने प्रतिद्वंद्वी बृज किशोर बिंद अब राष्ट्रीय जनता दल (RJD) से चुनाव लड़ रहे हैं। इस बार मुकाबला न केवल दलों का है, बल्कि पुराने चेहरों के बदले हुए गठजोड़ ने चुनाव को और भी दिलचस्प बना दिया है।
2020: जमा खान (BSP) ने 95,245 वोटों के साथ जीत दर्ज की, जबकि भाजपा के बृज किशोर बिंद को 70,951 वोट मिले।
2015: बृज किशोर बिंद (भाजपा) ने जमा खान को 671 वोटों से हराया।
2009: बृज किशोर ने उपचुनाव में पहली बार जीत हासिल की।
2005: महाबली सिंह (राजद) ने चौथी बार जीत दर्ज की।
इस सीट पर वैश्य, यादव और मुस्लिम वोट बैंक का खासा प्रभाव रहा है, जो हर चुनाव में समीकरण बदलते हैं।
जमा खान ने भभुआ अनुमंडल कार्यालय में नामांकन दाखिल किया। उन्होंने अपने कार्यकाल में दर्जनों सड़कों के निर्माण, इंजीनियरिंग कॉलेज, मेडिकल कॉलेज का शिलान्यास और सरकारी योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन का दावा किया। उनका कहना है कि चैनपुर में विकास की गति तेज हुई है और वे इसे और आगे ले जाना चाहते हैं।
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इस बार जनसुराज पार्टी ने हेमंत चौबे को टिकट दिया है, जो समीकरणों को प्रभावित कर सकते हैं। चैनपुर की भौगोलिक विविधता और सांस्कृतिक विरासत इसे एक विशेष चुनावी क्षेत्र बनाती है।