राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत ने दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम ‘100 वर्ष की संघ यात्रा: नए क्षितिज’ को संबोधित करते हुए बड़ा बयान दिया। उन्होंने कहा कि अगर हम हिंदू राष्ट्र कहते हैं तो हम किसी को छोड़ रहे हैं, यह ठीक नहीं है। हम किसी के विरोध में नहीं हैं। भागवत ने अपने संबोधन के दौरान हिंदू राष्ट्र, राष्ट्रीय एकता, विविधता और जिम्मेदारी जैसे कई अहम मुद्दों पर अपने विचार रखे। करीब 40 मिनट के लंबे भाषण में उन्होंने इतिहास, समाज और राजनीति से जुड़े कई पहलुओं का जिक्र किया। भागवत ने कहा कि जब हम हिंदू राष्ट्र की बात करते हैं तो लोग सवाल उठाते हैं। लेकिन उन्होंने स्पष्ट किया कि हमारा राष्ट्र पहले से ही है। अगर हिंदू शब्द हटा भी दें, तब भी उस पर विचार करना चाहिए। हिंदू राष्ट्र का मतलब किसी को अलग करना नहीं है। अगर हम हिंदू राष्ट्र कहते हैं तो हम किसी को छोड़ रहे हैं, यह ठीक नहीं है। हम किसी के विरोध में नहीं हैं।