मुंबई में साइबर धोखाधड़ी (pic credit; social media)
Mumbai News In Hindi: आरएके मार्ग पुलिस ने ‘डिजिटल अरेस्ट’ के जरिए साइबर धोखाधड़ी करने वाले, एक अंतरराज्यीय गिरोह का भंडाफोड़ कर गुजरात से छह लोगों को गिरफ्तार किया है। इनमें से एक मामले में 72 वर्षीय व्यवसायी से 58 करोड़ रुपये की ठगी की गई थी।
पुलिस ने मेहसाणा और अहमदाबाद से आरोपियों को पकड़ा, जो चीन और कंबोडिया में बैठे ठगों के संपर्क में थे। ये ठग बैंक खातों और ठगी गई राशि के लेनदेन के निर्देश देते थे।
आरोपियों ने पीड़ित को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के प्रमुख सदानंद दाते के नाम का दुरुपयोग किया और कश्मीर के पहलगाम हमले के आतंकियों की मदद करने के नाम पर धमकाया था।
पुलिस उपायुक्त (जोन-4) रागसुधा आर ने बताया कि आरोपियों की पहचान सुरेश कुमार मगन लाल पटेल (51), मुसरन इकबाल भाई कुंभार (30), चिराग महेश चौधरी (29), अंकित कुमार महेशभाई शाह (40), वासुदेव उर्फ विवान वालजीभाई बारोट (27) और युवराज उर्फ माकों उर्फ लक्ष्मण सिंह सिकरवार (34) के रूप में हुई है।
उन्होंने कहा कि युवराज इस गिरोह का सरगना है और वह सीधे अंतरराष्ट्रीय ठगों के संपर्क में था, वह पिछले तीन वर्षों से साइवर धोखाधड़ी में शामिल था और प्रत्येक ठगी पर उसे तीन प्रतिशत कमीशन मिलता था। जांच के दौरान पुलिस को मध्य मुंबई में रहने वाले एक बुजुर्ग से 70 लाख रुपये की ठगी का मामला मिला, जिसके बाद इस गिरोह का पता चला।
‘डिजिटल अरेस्ट’ में ठग खुद को सीबीआई, ईडी, एटीएस या एनआईए का अधिकारी बताकर वीडियो कॉल के जरिए लोगों को डराते और डिजिटल रूप से बंधक बनाते थे। इस मामले में व्यवसायी और उनकी पत्नी को दो महीने तक ‘डिजिटल अरेस्ट’ रखा गया।
पुलिस ने बताया कि ठगी गई रकम को फाले दो बैंक खातों में जमा किया जाता, फिर 138 खातों में ट्रांसफर कर क्रिप्टो करेंसी और अमेरिकी डॉलर में बदला जाता। गिरफ्तार आरोपियों में सुरेश कुमार पटेल, मुसरन कुंभार, विराग चौधरी, अंकित शाह, वासुदेव बारोट और युवराज सिकरवार शामिल है।
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युवराज गिरोह का सरगना था और उसे ठगी की रकम का तीन प्रतिशत कमीशन मिलता था। आरोपियों के खिलाफ देशभर में 31 मामले दर्ज है। पुलिस ने 15 बैंक खाते जब्त किए और 10।5 लाख रुपये का लेन-देन रोका, जांच में पता चला कि ठग एपीके’ कद्दल भेजकर मोबाइल का नियंत्रण लेते थे और डेटा का दुरुपयोग कर ठगी करते थे।
Digital Arrest गिरोह ने 72 वर्षीय व्यवसायी से 58 करोड़ की ठगी की। जिसके चलते 6 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। इन आरोपियों ने रकम 138 बैंक खातों में ट्रांसफर कर क्रिप्टो में बदली और एनआईए और आतंकवाद का नाम देकर ब्लैकमेल किया।