एचआईवी संक्रमण (सोशल मीडिया)
नवभारत लाइफस्टाइल डेस्क: दुनियाभर में कई बीमारियों के मामले मिलते रहते है जिसमें इन दिनों विश्व स्वास्थ्य संगठन के द्वारा रिपोर्ट सामने आई है जहां पर दुनियाभर में लाखों लोग संक्रमण का शिकार हो रहे है इनमें से ज्यादातर बीमारी घातक संक्रमण होती है जिसमें एचआईवी, वायरल हेपेटाइटिस और यौन संक्रमणों के मामले शामिल है। इतना ही नहीं इन बीमारियों के संक्रमण से 25 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हो रही है तो वहीं पर हर घंटे में 285 लोगों की जान जा रही है।
2025 तक 17 लाख मौतों के मिलेंगे मामले
यहां पर संक्रमण की इन बीमारियों से औसतन 5 से ज्यादा लोग जान गंवा रहे है तो वहीं पर आंकड़े कहते है कि, 2025 तक इन मौतों को 17 लाख जबकि 2030 तक 10 लाख पर सीमित करने का लक्ष्य रखा गया है। वहीं यदि एच.आई.वी. से जुड़े आंकड़ों पर गौर करें तो इसके मामलों और संबंधित मौतों में धीरे-धीरे गिरावट आ रही है। 2022 में एचआईवी की वजह से 630,000 मौतें हुई थी जहां पर मौतों के आंकड़ें रोकने और एचआईवी जैसे संक्रमण से निपटने के लिए एंटीरेट्रोवाइरल थेरेपी काम करती है।
जानिए किस वजह से होता है संक्रमण
यहां पर इन संक्रमणों में शामिल एचआईवी, वायरल हेपेटाइटिस और यौन संक्रमणों की वजह से हर साल 12 लाख से ज्यादा लोग कैंसर जैसी बीमारी के चपेट में आ रहे है तो वहीं पर 2019 में हेपेटाइटिस की वजह से 11 लाख लोगों की मौत हुई थी, वहीं 2022 में यह आंकड़ा बढ़कर 13 लाख पर पहुंच गया। ऐसा नहीं है कि, इन बीमारियों के निदान के लिए प्रभावी साधन नहीं है लेकिन फिर भी मौतों के मामले बढ़ रहे है।