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One Nation One Election: अगले साल पास हुआ बिल तो कब एक साथ होंगे चुनाव? यहां है आपके हर सवाल का जवाब!

देश में इन दिनों चौतरफा वन नेशन वन इलेक्शन बिल की चर्चा है, जो कि जेपीसी के पास है। ऐसे में इस बिल का इस सत्र में पास होना असंभव है। अब अगर यह अगले साल यानी 2025 में पास होता है तो कब एक साथ चुनाव होंगे यह बड़ा सवाल है।

  • By अभिषेक सिंह
Updated On: Dec 18, 2024 | 05:21 PM

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नई दिल्ली: ‘एक देश-एक चुनाव’ की दिशा में एक कदम आगे बढ़ाते हुए केंद्र सरकार ने विपक्षी दलों के कड़े विरोध के बीच मंगलवार को लोकसभा में संविधान के 129वें संशोधन विधेयक और इससे संबंधित एक अन्य विधेयक पेश किया। तब विपक्ष ने इस विधेयक को तानाशाही बताते हुए संविधान संशोधन विधेयक को संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) को भेजने की मांग की थी। संविधान संशोधन के लिए दो तिहाई बहुमत जुटाने की चुनौती और विपक्ष की मांग को देखते हुए केंद्र सरकार ने दोनों विधेयकों को जेपीसी को भेजने पर सहमति जताई।

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि जब यह विधेयक कैबिनेट में चर्चा के लिए आया था, तब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे जेपीसी को भेजने की बात कही थी। अब दोनों विधेयक- संविधान का 129वां संशोधन और केंद्र शासित प्रदेश कानून संशोधन विधेयक जेपीसी को भेजे जाएंगे। सवाल यह है कि संसद का मौजूदा सत्र 20 दिसंबर तक है। ऐसे में संसद के इस सत्र में विधेयक पारित नहीं हो पाएंगे। अगर संयुक्त संसदीय समिति की मंजूरी मिलने के बाद बिना बदलाव के विधेयक संसद में पारित हो जाते हैं, तो यह कब लागू होंगे?

जेपीसी का गठन कैसे होगा?

संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) में लोकसभा के 21 और राज्यसभा के 10 सदस्य होंगे। संसद में पार्टियों की संख्या के हिसाब से हर पार्टी के सदस्यों की संख्या तय की जाएगी। ऐसे में सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते सबसे ज्यादा सदस्य और अध्यक्ष बीजेपी से हो सकते हैं।

जेपीसी क्या करेगी?

एक देश-एक चुनाव से जुड़े आठ पन्नों के इस विधेयक में जेपीसी को काफी होमवर्क करना होगा। संविधान के तीन अनुच्छेदों में बदलाव कर नया प्रावधान जोड़ने का प्रस्ताव दिया गया है। दरअसल, अनुच्छेद 82 में नया प्रावधान जोड़कर राष्ट्रपति को तय तिथि पर फैसला लेने को कहा गया है। आपको बता दें कि अनुच्छेद 82 जनगणना के बाद परिसीमन के बारे में है।

एक देश एक चुनाव विधेयक से जुड़ी अन्य खबरों को पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें

जेपीसी अपनी रिपोर्ट कब देगी?

संविधान के 129वें संशोधन और केंद्र शासित प्रदेश कानून संशोधन विधेयकों को अंतिम रूप देने में लगभग पूरा 2025 लग सकता है। अगर ऐसा हुआ तो ये दोनों बिल 2026 में फिर से सदन में जाएंगे। अगर बिल विशेष बहुमत पाकर पास हो जाता है तो चुनाव आयोग के पास 2029 की तैयारी के लिए सिर्फ दो साल ही बचेंगे। एक देश एक चुनाव के तहत सभी राज्यों और पूरे देश में एक साथ चुनाव कराने के लिए यह समय काफी नहीं है।

बिल पास होने के बाद क्या होगा?

यह सबसे अहम सवाल है कि 2029 के चुनाव के बाद राष्ट्रपति अधिसूचना जारी कर लोकसभा की पहली बैठक की तारीख तय करेंगे। चुनाव होंगे और फिर 2034 में लोकसभा का पूरा कार्यकाल पूरा होगा। इससे सभी विधानसभाओं का कार्यकाल पूरा माना जाएगा, तभी एक साथ चुनाव कराए जा सकेंगे।

तैयारी के लिए कितना समय चाहिए?

अगर अब तक की प्रक्रिया को देखा जाए तो 2034 की टाइमलाइन बुनियादी जरूरतों से मेल खाती है। एक देश एक चुनाव के लिए चुनाव आयोग को कम से कम 46 लाख ईवीएम की जरूरत है। अभी चुनाव आयोग के पास सिर्फ 25 लाख मशीनें हैं। मशीनों की एक्सपायरी 15 साल है। ऐसे में 15 लाख मशीनों की लाइफ दस साल में पूरी होगी। मशीनों का इंतजाम करने में 10 साल लग सकते हैं।

One nation one election know when will elections be held simultaneously if bill is passed next year

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Published On: Dec 18, 2024 | 05:21 PM

Topics:  

  • BJP
  • Congress
  • One Nation One Election

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